बरेली। आठ मार्च को महाशिवरात्रि मनाई जाएगी। तीन सौ वर्ष बाद महाशिवरात्रि पर अद्भुत योग बन रहा है। ज्योतिषाचार्य के अनुसार इस बार महाशिवरात्रि पर सर्वार्थ सिद्धि योग बन रहा है। आठ मार्च को कुंभ राशि में सूर्य, शनि, शुक्र साथ मिलकर त्रिग्रही योग बना रहे हैं, जो अद्भुत है। भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए इस दिन पूजा और व्रत रखना श्रेयस्कर माना जाता है। प्रत्येक वर्ष फाल्गुन कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी के दिन शिव और शक्ति के मिलन का पर्व महाशिवरात्रि मनाई जाती है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इस दिन भगवान शिव और देवी पार्वती की उपासना करने से जीवन में सुख-समृद्धि आती है। महाशिवरात्रि के दिन भगवान शिव का अभिषेक करने के बाद उस पवित्र जल का छिड़काव करने से घर में सकारात्मक ऊर्जा का वास होता है। इस दिन पूजा के समय पूर्व या उत्तर-पश्चिम दिशा में बेल का पौधा लगाएं और उसकी देखभाल करें। बेल के पेड़ के नीचे घी का दीपक जरूर जलाएं। ऐसा करने से वास्तु दोष कम होता है। महाशिवरात्रि व्रत के दौरान ब्रह्मचर्य के नियमों का पालन करना चाहिए। रात्रि जागरण करने से व्रत का फल दोगुना हो जाता है। उपवास के दौरान भोजन और नमक से परहेज करना चाहिए। दूध, पानी और फलों का सेवन कर सकते हैं। व्रत का सबसे महत्वपूर्ण पहलू बुरे विचारों, बुरी संगति और बुरे शब्दों से दूर रहना है। व्रतियों को सद्गुणों का अभ्यास करना चाहिए। सभी बुराइयों से दूर रहना चाहिए। इस दिन भगवान शिव के नामों का जप करना और उनके मंदिर जाना शुभ माना जाता है। इस पवित्र दिन व्रतियों को भगवान शंकर की महिमा सुनना और सुनाना चाहिए। तामसिक चीजों के सेवन से बचना चाहिए। महाशिवरात्रि को लेकर शहर के शिवालय सजने लगे है। नाथ मंदिरों में कार्यक्रमों की रूपरेखा तैयार कर ली गई है। फूल, पन्नी और झालरों से भव्य सजावट की जा रही है। भक्तों के आवागमन की विशेष व्यवस्था की जा रही है।।
बरेली से कपिल यादव