नागल/सहारनपुर- मंगलवार को उमाही कलां में भय के कारण मकान बिकाऊ है का नया सच सामने आया है, पुलिस कार्रवाई से बचने को मारपीट के आरोपियों ने ही अपने मकान पर पलायन का स्लोगन लिखकर शासन-प्रशासन की सहानुभूति हासिल करने का प्रयास किया।
पुलिस के मुताबिक इन लोगों पर नागल थाना समेत पूरे जनपद में दर्जनभर से अधिक मामले दर्ज हैं, बताते चलें कि अलीजान, मुन्तयाज, शहनाज, सरफराज, असगर, मुस्तकीम, सादा, वाजिद, नदीम, मतलूब व शेरदीन आदि दर्जनों ग्रामीणों ने अपने मकान के बाहर लिख रखा है कि भय के कारण मकान बिकाऊ है। ग्राम प्रधान मुसर्रत जहां ने बताया कि उनके गांव का गफ्फार एक हिस्ट्रीशीटर है जिस पर अनेक मुकदमे दर्ज हैं बकरा ईद के दिन वह अपने भाई इस्तखार व राशिद के साथ उनके मकान पर आया तथा तमंचा दिखाकर जान से मारने की धमकी दी, उन्होंने पुलिस को मामले की जानकारी दी, जिस पर 3 दिन बाद आई पुलिस भी आरोपी के यहां बैठ कर चली गई, उक्त हिस्ट्रीशीटर के भय से हम लोग यहां से पलायन करने को मजबूर हैं।
इस संबंध में थाना प्रभारी अमरदीप लाल का कहना है कि 22 अगस्त को प्रधान पति मुन्तयाज,असलम, सरफराज व असगर ने गांव के ही गफ्फार के साथ मारपीट की जिसकी रिपोर्ट 323, 504 व 506 मैं नागल थाने में दर्ज है, प्रधान पक्ष का अनीस भी हिस्ट्रीशीटर है उस पर नागल थाने में 6 मुकदमों समेत जनपद में दर्जनभर से अधिक मामले दर्ज हैं। उन्होंने बताया कि एसओजी ने 20 अगस्त को अनीस को सहारनपुर से चोरी के बाइक समेत गिरफ्तार किया था जिसको छुड़ाने में प्रधान पति समेत सभी आरोपियों ने कड़ी पैरवी की तथा ग्राम प्रधान विपक्षियों द्वारा सूचना का अधिकार अधिनियम के तहत विकास कार्यों की जानकारी मांगने से भी खफा है तथा उन लोगों को हंसाने को नए-नए हथकंडे अपना रहा है, जितने घरों पर पलायन का स्लोगन लिखा है उनमें से अधिकतर गफ्फार से मारपीट के मामले में आरोपी हैं। मंगलवार को उक्त मामला सुर्खियों में आने के बाद एसपी देहात विद्याचरण व क्षेत्राधिकारी पुलिस देवबंद सिद्धार्थ सिंह ने भी गांव पहुंचकर मामले की जांच की।
– सहारनपुर से सुनील चौधरी की रिपोर्ट