शाहजहाँपुर- जहां एक ओर सरकार महिलाओ की सुरक्षा की बात करती है वहीं दूसरी ओर पुलिस छेड़छाड़ जैसे गंभीर मामलों पर ध्यान नही देती है ताजा मामला शहीदों की नगरी शाहजहाँपुर में उस समय देखने को मिला जब एक भाई को बहन की आबरू बचाने के लिए सलाखों के पीछे जाना पड़ा।
हम आपको बता दे नवादा इंदेपुर
निवासी पीड़िता जो कि पेशे से अधिवक्ता है 1-5-18 को सुबह 9:30 बजे जिला अस्पताल दवा लेने जा रही थी। जैसे ही वह अस्पताल गेट पर पहुंची तभी मनीष कनौजिया और उसके भाई ने रास्ता रोक लिया और छेड़छाड़ करने लगे। सूचना मिलने पर अर्चना का नावालिग भाई दौड़ता हुआ मौके पर पहुंचा। तभी उक्त मनचले यूबको ने अर्चना से मारपीट करने लगे और अर्चना के कपड़े फाड़ दिए एवं अश्लीलता करने लगे। और फिल्मी स्टाइल में फायर करने लगे। पीड़िता ने 100 डायल को सूचना दी तभी उक्त लोग भाग गए। अर्चना ने थाने में तहरीर दी परंतु कोई कार्यवाही नही हुई। 2-5-18 को अर्चना पुलिस अधीक्षक कार्यालय पहुंची लेकिन कोई आला अधिकारी नही मिला आखिरकार मायूस होकर घर लौट आयी। परंतु उसी दिन रात करीब 8:30 बजे मनीष उसका भाई , मनीष के पिता अमित कुमार,मनीष के ताऊ एवं तीन अज्ञात लोग एकराय होकर अर्चना के दरवाजे पर आए जैसे ही अर्चना ने दरवाजा खोला तो उक्त सभी लोग गंदी गंदी गालियां देने लगे। जब अर्चना ने विरोध किया तो उक्त लोगो ने फायरिंग शुरू कर दी। अर्चना ने तत्परता दिखाते हुए दरवाजा बंद कर लिया जिससे दरवाजे में कई छेद हो गए। सूचना मिलने पर पुलिस ने मौका मुआयना किया और खाली खोखा और गोली के छेद की फ़ोटो लेकर चली गयी। लेकिन पुलिस ने कोई ठोस कदम नही उठाया। बल्कि मुल्जिमानों से सांठ गांठ करके पुलिस ने अर्चना के नावालिग भाई और जीजा को जेल जरूर भेज दिया है अब देखना यह है आखिरकार महिलाये कब तक खुद को असुरक्षित महसूस करती रहेंगी।
-शाहजहांपुर से अंकित कुमार शर्मा की रिपोर्ट