युवा पीढ़ी को बर्बादी की ओर ले जा रहा नशा

मध्यप्रदेश- नगर में आज आधे से अधिक युवा पीढ़ी नशे की गुलामी की तरफ बढ़ गई है कहीं यह शौक के रूप में कहीं मान्यताओं के रूप में तो कहीं हाई सोसाइटी की प्रतिष्ठा के रूप में कहीं स्वयं को युवाऔर स्मार्ट दिखाने के चलन कहीं दुःख तनाव अशान्ति को हटाने के लिए लोग नशे के आदि हो गए हैं चरस गांजा शराब का प्रयोग लोग आनन्द की अनुभूति करने के लिए करते हैं
यह आ रही समस्याएं:-
थोड़े समय के आनन्द के बाद नशा उतरने पर बैचेनी याददास्त की कमी जो मिचलाना अपच आदि समस्याओं खड़ी हो जाती है शराब को तो जैसे कि आधुनिक समाज में मान्यता मिल गई है यही नशा युवा पीढ़ी को बर्बादी की ओर ले जा रहा है
बीमारियों पर हो रहा मोटा खर्च:-
नशा जनित बीमारियों पर हो रहा मोटा खर्च जितना पैसा इन उत्पादों को बेचने से प्राप्त हो रहा है उससे कई गुना धन इनसे होने वाली बीमारियों के ऊपर खर्च हो रहा है इन मादक पदार्थों की लत को खत्म करने और उनको खरीदने के लिए कभी कभी आदमी दूसरों की हत्या करने में भी संकोच नहीं करता चोरी और अपराध की दुनिया में कदम रखने वाले अधिकांश युवा पीढ़ी युवा इन नशों के आदी है
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इन हरकतों को न करें नजर अंदाज:-
(1) घर से सामान गायब होने लगे
(2)बेटा. बेटी कमरे में जरुरत से ज्यादा समय बिताएं
(3) वे गुमसुम नजर आने लगें
(4)उनका खानपान कम होने लगें
(5) आंखों में सूजन बनी रहे और आंसू आना
(6) हद से ज्यादा चिड़चिडे़ होने लगें

– भारत रजक,मध्यप्रदेश

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