जयपुर/राजस्थान- रोडवेज कर्मचारियों ने खुलकर अपना विरोध प्रकट किया। राजस्थान रोडवेज के श्रमिक संगठनों (एटक, सीटू, इंटक, आरएसआरटीसी रिटायर्ड एम्पलाइज एसोसिएशन, बीजेएमएम, राजस्थान रोडवेज सेवानिवृत्त कर्मचारी कल्याण समिति) के संयुक्त मोर्चे ने लिखित समझौता होने के बावजूद मांगों को नहीं मानने पर अर्धनग्न होकर जयपुर में प्रदर्शन किया इसी के साथ मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के पुतले की शवयात्रा निकाल दी।
जानकारी के अनुसार जयपुर के अलावा रोडवेज कर्मचारियों ने पूरे प्रदेश में सीएम के पुतले की शवयात्रा निकालकर पुतले का दहन कर विरोध जताया। राजस्थान स्टेट रोडवेज एम्पलाइज यूनियन – एट के प्रदेश अध्यक्ष एमएल यादव ने बताया कि राज्य सरकार लिखित समझौता होने के बावजूद रोडवेजकर्मियों के हितों पर कुठाराघात कर रही है वहीं मांगे पूरी नहीं होने पर आमरण अनशन, धरना प्रर्दशन के अलावा प्रदेश स्तरीय आंदोलन जल्द शुरू किया जाएगा।
आपको बता दें कि जुलाई माह के अंत में रोडवेज कर्मचारियों की हड़ताल के बाद सरकार ने उनकी मांगें मान ली थी। परिवहन मुख्यालय में वार्ता के बाद मंत्री यूनुस खान और रोडवेज के संयुक्त मोर्चे के पदाधिकारियों के बीच समहड़ताल समाप्त हाेने के बाद यात्रियों ने राहत की सांस ली।झौता हो गया। वार्ता के दौरान कर्मचारी नेताओं ने चार प्रमुख मांगें सरकार के सामने रखी, जिनमें सेवानिवृत कर्मचारियों को परिलाभों का भुगतान रोडवेज की नवीन बसों देना, रोडवेज कर्मचारियों को सातवें वेतनमान और पेंशन भत्ते देना हड़ताल समाप्त हाेने के बाद यात्रियों ने राहत की सांस ली।और रोडवेज के रिक्त पदों को भरने की मांग शामिल थी।
वार्ता में पहली मांग पर समझौता किया गया कि सरकार अगस्त माह तक रोडवेज को 150 करोड़ रुपए देगी, जिसमें से 100 करोड सेवानिवृति परिलाभ और शेष कर्मचारियों को भत्ता आदि दिया जाएगा। दूसरी मांग पर परिवहन मंत्री युनुस खान ने आश्वस्त किया कि रोडवेज की नकारा बसों को रिप्लेसमेंट के आधार पर चरणबद्ध तरीके से बदला जाएगा। तीसरी और चौथीं मांग पर समझौता किया गया कि इस क्षेत्र के अनुभवी रिटायर्ड आईएएस की अध्यक्षता में कमेटी बनेगी, जिसमें कर्मचारी नेता और अधिकारी भी शामिल होंगे। यह कमेटी सातवें वेतनमान और नई भर्ती की मांग के संबंध में 31 अगस्त तक रिपेार्ट देगी।