आजमगढ़- होमियोपैथिक मेडिकल एसोसिएशन आजमगढ़ इकाई एवं राजकीय होमियोपैथिक मेडिकल चंडेश्वर के संयुक्त तत्वावधान में गुरूवार को सठियांव में निःशुल्क चिकित्सा शिविर का आयोजन किया गया। इस दौरान मरीजों का परीक्षण कर निःशुल्क उपचार किया गया। लोगों को यह बताया गया कि इस विधा से असाध्य रोगों का भी उपचार संभव है। केंद्रीय होमियोपैथी परिषद के सदस्य डा. भक्तवत्सल ने नवंबर माह के आखिरी रविवार को सठियांव में होमियोपैथिक मेडिकल एसोसिएशन के बैनर तले दोबारा शिविर आयोजित करने की घोषणा की। उन्होंने दावा किया कि वर्तमान सरकार ने होमियोपैथी के लिए जितना काम किया है आजतक किसी सरकार ने नहीं किया।
शिविर का शुभारंभ भाजपा चिकित्सा प्रकोष्ठ के संयोजक व केंद्रीय होमियोपैथी परिषद के सदस्य डा. भक्तवत्सल डा. हैनिमन के चित्र पर माल्यापर्ण एवं फीता काटकर किया। उन्होंने कहा कि यूपी सरकार ने प्रदेश के सभी होमियोपैथिक मेडिकल कालेजों में केंद्रीय होमियोपैथी परिषद के मानक को पूरा किया है। सभी जगह शिक्षकों की तैनाती की गयी है। जो कालेज मानक को पूरा नहीं करते हैं उनमें एडमीशन पर रोक लगा दी गयी है। इससे साफ है कि होमियोपैथिक चिकित्सा में सुधार होगा। सरकार इसके लिए निरंतर प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि अपनी गुणवत्ता के कारण आज होमियोपैथी भारत की दूसरे नंबर की सबसे ज्यादा लोकप्रिय चिकित्सा पद्धति है। इसके बारे में कुछ लोग भ्रांतियां फैला रहे हैं। यह अंग्रेजी दवा कंपनियों की एक संगठित चाल है। इससे हमें परेशान होने की जरूरत नहीं है। कारण कि होमियोपैथी अपने गुणवत्ता पर आधारित पद्धति है। डा. हैनिमन ने पीड़ित मानवता के लिए होमियोपैथी के रूप में एक अमृत कलश प्रदान किया है जिसकी दो बूंद औषधि से हमें असाध्य से असाध्य रोगों का उपचार कर सकते है।
उन्होंने कहा कि आज स्वस्थ्य भारत की परिकल्पना बिना होमियोपैथी करना संभव ही नहीं है। एलोपैथ सहित जहां मेडिकल की सारी विधाएं फेल हो जाती है वहां भी होमियोपैथ मरीज को पूर्णरूप से रोगों के मुक्ति दिलाता है। होमियोपैथी अपनी गुणवत्ता पर समाज में लोकप्रिय होती जा रही है।
राजकीय होमियोपैथिक मेडिकल कालेज के प्राचार्य डा. डीके सोनकर ने सभी का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि शिविर का मुख्य उद्देश्य स्वास्थ्य सेवाओं को गांव के अंतिम छोर तक पहुंचाना है। शिविर के संयोजक डा. देवेश दुवे, आयोजक डा. राजेश तिवारी, डा. राजकुमार राय, डा. योगेश राय, डा. कुलदीप, डा. विक्रम, डा. पुनीत गौड़, डा. राजेश तिवारी, डा. सीपी मिश्र, डा. रणधीर सिंह, डा. बीके मिश्र, डा. मनोज सिंह, डा. मनोज मिश्र, डा. राजकुमार राय, डा. मनोज मिश्र आदि ने मरीजों का परीक्षण कर उपचार किया। संचालन डा. स्फूर्ति सिंह ने किया।
रिपोर्ट-:राकेश वर्मा आजमगढ़