बरेली। जंक्शन पर यात्रियों की सुविधा को देखते हुए डिस्प्ले बोर्ड लगाए गए हैं जिनमें एक डिस्प्ले बोर्ड घूमने वाला है जो काफी बड़ा होने के साथ ही चारों तरफ घूमता है। यहां आरक्षण बिल्डिंग में रहने वाले खूंखार बंदर रहे हैं घूमने वाले डिस्प्ले बोर्ड को चलने से पहले ही तोड़ दिया। उनकी प्लेट से निकाल दी। स्टेशन अधीक्षक की ओर से कई बार नगर निगम को बंदर पकड़वाने के लिए पत्र लिखा गया लेकिन नगर निगम ने इसका कोई जवाब नहीं दिया। जंक्शन के रेल अधिकारियों का कहना है कि कोरोना वायरस के चलते ट्रेनों का संचालन जब बंद हुआ तो बोर्ड ने रेल यात्रियों की सुविधाओं के लिए स्टेशनों पर व्यवस्था ठीक करने के निर्देश दिए। जिसमें जंक्शन पर छोटे-छोटे कार्यो को पूरा कराया गया था। इन कार्यों में टेलीकॉम और इलेक्ट्रिकल विभाग की ओर से ट्रेन डिस्प्ले बोर्ड भी लगाए गए। सर्कुलेटिंग एरिया में दस फीट चौड़ा और बारह फीट लंबा डिस्प्ले बोर्ड लगवाया। वही दूसरा डिस्प्ले बोर्ड टिकट आरक्षण बिल्डिंग में लगाया गया। आरक्षण बिल्डिंग में जो बोर्ड लगा है वह चारों तरफ घूमने वाला डिस्प्ले बोर्ड है। कंपनी द्वारा डिस्प्ले बोर्ड तो लगा दिया गए जब संचालन का समय आया तो उससे पहले ही यहां रहने वाले खूंखार बंदरों ने डिस्प्ले बोर्ड की प्लेट्स निकाल दी अब दोबारा उसे ठीक कराया जाएगा। यात्रियों की सुविधा को उसे संचालित किया जाएगा बरेली जंक्शन पर ही नहीं बल्कि सभी बड़े रेलवे स्टेशनों पर बंदरों का आतंक है। इसको लेकर रेलवे बोर्ड की ओर से भी रेल मंडल प्रबंधक को निर्देश दिए गए हैं कि जिला प्रशासन के सहयोग से इन बंदरों को पकड़ा जाए जिससे अक्सर बंदर यात्रियों पर हमला कर देते हैं। बरेली जंक्शन की बात की जाए तो यहां करीब डेढ़ सौ से ज्यादा बंदर हैं जिनका आरक्षण बिल्डिंग के पास बैठक हॉल में कब्जा रहता है इतनी अधिक संख्या में बंदर होते हैं कि यात्री डर की वजह से बैठक हाल में अकेले जाना पसंद नहीं करता। स्टेशन अधीक्षक सत्यवीर का कहना है कि बंदरों को पकड़वाने के लिए नगर निगम को कई पत्र लिखे जा चुके हैं लेकिन नगर निगम में किसी भी पत्र का जवाब नहीं दिया है। डिस्प्ले बोर्ड के बारे में प्राइवेट एनजीओ से बात की जाएगी बंदरों की वजह से रेलवे का काफी नुकसान होने लगा है अक्सर वायरिंग काटकर बंदर समस्या खड़ी कर देते है।।
बरेली से कपिल यादव