* डीएम व एसपी के आश्वासन के बाद रेणुकूट में चल रहे जाम को किया गया समाप्त*
सोनभद्र- रेणुकूट चेयरमैन बबलू सिंह का हुआ अंतिम संस्कार, माहौल हुआ गमगीन, सभी के ऑखो से फूटी अश्रु की धारा। सहज सरल और सौम्य स्वाभाव के बबलू सिंह जी का अंतिम संस्कार किया गया । उनके इस तरह से जाने से कोई खुश नही था। यह सभी नगर वासी के लिये व्यक्तिगत क्षति हुयी है । लोगो की उमड़ी भीड़ इस बात की गवाही देने के लिए काफी था कि बबलू सिंह आम जनता के दिलों मे क्या स्थान रखते हैं उनके जाने से जो कमी आज हुयी है वह किसी के लिये भी असहनीय है। उनके अंतिम संस्कार समारोह में क्षेत्र की जनता उमड़ पड़ी। सभी लोग इस दिव्य आत्मा को अपनी भावपूर्ण श्रद्धांजलि अर्पित कर रहे थे । सभी के ऑखो मे अश्रु थे। लोगो का रो रो कर बुरा हाल था। रेणुकूट वासी बरबस कह रहे थे कि मैने आज अपना बेटा अपना भाई खो दिया है जिसकी भरपाई कर पाना मुश्किल है। अब हम लोगो की हक की लड़ाइ कौन लड़ेगा। हम लोग अपने आप को अब अकेला महसूस कर रहे है। शव यात्रा मे पॉच सौ से अधिक चार चक्का गाड़ीया हजारो से अधिक संख्या मे लोग क्या अमीर क्या गरीब सबकी ऑखे नम थी । उनका शव यात्रा रेणुकूट पुलिस चौकी मेन चौराहा होते हुये मूर्धवा इनके बड़े भाई कैलाश सिंह के आवास से वापस मुख्य मार्ग से होते हुए रेलवे स्टेशन,हनुमान मंदिर तुर्रा चौराहा से गुजरी। रिहंद डैम के पास दाह संस्कार हुआ। बबलू सिंह के बड़े पुत्र अभय सिंह ने मुखाग्नि दी। सभी की आखो में अश्रु थे। इस अंतिम संस्कार मे जितना लोगो की भीड़ थी इससे पहले कभी नही हुआ था। ये उनके आम जनमानस मे व्यवहार का ही नतीजा था। जो उन्होने अपनी स्वभाव से पाया है । सभी ने अपना मसीहा खो दिया। आपको बताते चले कि रेणुकूट चेयरमैन बबलू सिंह को 30 सितंबर की रात्रि करिब 10:15 बजे नकाबपोश बदमाशो ने उनके निवाश स्थान पर गोली मार दी थी जिससे उंनकी वाराणसी ट्रामा सेंटर पर इलाज के दौरान मौत हो गयी । घटना की सूचना मिलते ही नगर मे कोहराम मच गया तभी से रेणुकूट मे उनसे प्रेम करने वाले लोग तथा परिजनो ने वाराणसी शक्तिनगर मार्ग को जाम किया हुया था जिसके चलते पूरा रेणुकूट मार्केट बंद था । इस दौरान भारी संख्या मे पुलिस फोर्स को बुला लिया गया था । सभी आला अधिकारी दो दिन से जाम को हटाने का प्रयास कर रहे थे । डीएम व एसपी के आश्वासन के बाद रेणुकूट में चल रहे जाम को किसी तरह समाप्त किया जा सका है ।
रिपोर्ट – राजेन्द्र कुमार शाह/ सोनभद्र