सेवाएं करनी थी समाप्त, दे दिया प्रमोशन

*तेन्दूखेड़ा की ग्राम पंचायत बम्हौरी पांजी के रोजगार सहायक की संविदा की सेवा समाप्त करने जिला सीईओ ने जारी किया था आदेश

*मध्यप्रदेश के दमोह जिले के तेन्दूखेड़ा का मामला – जनपद सीईओ ने आदेश का निरादर कर , उसे दे दिया पंचायत के सचिव का प्रभार- आज भी कर रहा है काम

मध्यप्रदेश के दमोह जिला पंचायत सीईओ ने तेन्दूखेड़ा जनपद के एक रोजगार सहायक की संविदा सेवा समाप्त करने का आदेश जारी किया था लेकिन तेन्दूखेड़ा जनपद पंचायत सीईओ मनीष बागरी ने उस आदेश का निरादर करते हुए उस रोजगार सहायक को प्रमोशन देकर उसी पंचायत के सचिव का प्रभार दे दिया।जहां वह रोजगार सहायक के रूप में सेवाएं दे रहा था इस जिले में एक वरिष्ठ अधिकारी के आदेश की ऐसी अवहेलना का संभवतः यह पहला मामला है अव जनपद सीईओ मनीष बागरी की मनमानी सामने आने के बाद जिला पंचायत सीईओ डीएस रणदा ने कार्रवाई की बात कहीं है तेन्दूखेड़ा जनपद के बम्हौरी पांजी पंचायत के पंचायत सचिव शोभा सिंह को जिला पंचायत सीईओ श्री डीएस रणदा ने पीएम आवास योजना में अपात्र व्यक्ति को राशि देने के मामले में दोषी पाया था जिसमें कार्रवाई करते हुए उन्होंने एक आदेश जारी कर सचिव शोभा सिंह को निलंबित कर दिया।इसी आदेश के बिंदु क्रमांक दो में तेन्दूखेड़ा जनपद सीईओ को आदेश दिया गया था कि वे बम्हौरी पांजी पंचायत के रोजगार सहायक महेंद्र उसरेठे की संविदा सेवा समाप्त कर समीप की किसी पंचायत के रोजगार सहायक को बम्हौरी पांजी पंचायत के सचिव का प्रभार सौंपा जाना सुनिश्चित करें।जिला सीईओ के आदेश के कारण पंचायत सचिव को तो निलंबित कर दिया गया। लेकिन रोजगार सहायक को प्रमोशन देकर उसी पंचायत के सचिव का प्रभार दे दिया, जो अभी भी सेवाएं दे रहा है जिला सीईओ डीएस रणदा ने यह आदेश 5नवंबर 2018 को जारी किया था।

दो के अलावा किसी के पास नहीं होता पासवर्ड:-

बम्हौरी पांजी पंचायत के पूर्व सचिव शोभा सिंह ने बताया कि प्रधानमंत्री आवास की प्रक्रिया में हितग्राही की जानकारी अपलोड की जाती है जिसमें प्रत्येक पंचायत का एक पासवर्ड होता है जो या तो सचिव के पास होता है या फिर रोजगार सहायक के पास शोभा सिंह ने बताया कि उन्होंने संबंधित हितग्राही का कार्य नहीं किया था इस संबंध में हितग्राही से भी उन्होंने बात की थी हितग्राही ने भी कहा है कि वह उसके यहां नहीं गए थे कोई और आया था जिसका उन्होंने पंचनामा भी बनाया था लेकिन बाद भी उन्हें निलंबित कर दिया गया रोजगार सहायक महेंद्र उसरेठे की संविदा समाप्ति का आदेश जारी हुआ था लेकिन उन्हें जनपद सीईओ ने सचिव का प्रभार दे दिया।जब दो लोगों के पास ही पासवर्ड होता है तो फिर कोई तीसरा कैसे कुछ कर सकता है ये जरूर हो सकता है कि कुछ रोजगार सहायकों ने अपने सरपंचों को पासवर्ड दे रखा है हो सकता है कि रोजगार सहायक ने भी सरंपच को पासवर्ड दे दिया हो और उन्होंने ये काम किया हो और सजा उन्हें मिल रही है।

आपको बता दें कि पूरा मामला यह है:-

जनपद के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत बम्हौरी पांजी के सचिव शोभा सिंह पर आरोप था कि उन्होंने पीएम आवास योजना की हितग्राही संतोष रानी पति मुददू गौड़ की आईडी क्रमांक एमपी 1978581के स्थान पर संतोष पिता उजयार गोंड की आवास आईडी क्रमांक 1978581 को प्रथम किश्त की राशि 25 हजार रुपए भुगतान कर दी।जिस कारण पंचायत सचिव को दोषी मानते हुए उन्हें निलंबित किया जाता है जिला पंचायत सीईओ डीएस रणदा द्वारा जारी आदेश में यह भी उल्लेख किया गया कि यह आदेश तत्काल प्रभाव से लागू होगा इसी आदेश में बिंदु क्रमांक दो में उल्लेख किया गया कि तेन्दूखेड़ा जनपद पंचायत सीईओ को सूचनार्थ एवं ग्राम पंचायत बम्हौरी पांजी में पदस्थ रोजगार सहायक महेंद्र उसरेठे की संविदा समाप्ति का आदेश जारी करते हुए ग्राम पंचायत बम्हौरी पांजी का प्रभार समीप की ग्राम पंचायत के ग्राम रोजगार सहायक को सौंपा जाना सुनिश्चित किया जाए।

आदेश में सुधार करा लिया था:-

बम्हौरी पांजी के रोजगार सहायक व प्रभारी सचिव महेंद्र उसरेठे का कहना है कि उस समय जो आदेश जारी हुआ था उसकी खामी को उन्होंने ठीक करा लिया था क्योंकि जिस मामले में उन पर कार्रवाई की गई थी उस समय वे हड़ताल पर थे जब उनसे पूछा कि क्या बहाली का आदेश उनके पास है तो उन्होंने कहा कि उनके पास तो है लेकिन वे सरपंच से बात कर लें फिर उन्होंने कुछ देर बाद उस बहाली आदेश की कॉपी देने की बात की लेकिन दोबारा संपर्क नहीं किया

जिला पंचायत सीईओ ने कहा कार्रवाई की जाएगी:-

जिला पंचायत सीईओ डीएस रणदा का कहना है कि आदेश का पालन नहीं किया गया है तो जानकारी ली जाएगी और जो दोषी होगा उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएंगी।वह शीध्र ही इस मामले की जानकारी लेगें।
( श्री डीएस रणदा जिला पंचायत सीईओ दमोह-मध्यप्रदेश)

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