बरेली- फतेहगंज पश्चिमी सिंथेटिक्स एंड केमिकल्स लिमिटेड नामक रबर फैक्ट्री की नीलामी के लिए आज मुंबई व दिल्ली से कई पार्टियां फैक्ट्री में प्लांट देखने आई मुंबई हाई कोर्ट के रिसीवर एनडी ठक्कर पिछले दिनों रबर फैक्ट्री की मशीनरी के नीलामी के लिए विभिन्न अखबारों में ऐड जारी किया था। इसकी भनक रबर फैक्ट्री से जुड़े कर्मचारी वर्ग को भी लग गई कर्मचारियों ने आज खबर फैक्ट्री नियत समय पहुंचकर इस बात का विरोध किया की फैक्ट्री की नीलामी की शर्तों में मजदूरों की देनदारी को भी तय किया जाए श्रमिक नेता के नेतृत्व में बड़ी संख्या में कर्मचारियों ने कर्मचारियों ने मुंबई हाई कोर्ट के रिसीवर के सामने अपना पक्ष रखा फैक्ट्री 15 जुलाई 1999 से बंद है प्रबंध तंत्र में उस समय सभी श्रमिकों को समित अवकाश का नोटिस भेजकर अचानक प्रतिबंध कर दी थी तभी से फैक्ट्री बंद है और कर्मचारियों की देनदारी को लेकर के शासन-प्रशासन कतई गंभीर नहीं है कर्मचारियों के कोर्ट के प्रयास से पिछले दिनों पी एफ में वटा था केंद्रीय मंत्री संतोष गंगवार ने कराया था नेता अशोक मिश्रा का कहना है कि फैक्ट्री नीलाम हो या फैक्ट्री की अचल संपत्ति नीलाम हो रबर फैक्ट्री से जुड़े श्रमिक वर्ग का जो बकाया है उसका भुगतान भी सुनिश्चित किया जाना चाहिए मुंबई हाई कोर्ट के रिसीवर एन वी ठक्कर ने बताया कि इसकी नीलामी के लिए डीआरटी नामक संस्था जो बंद पड़ी यूनिट की नीलामी का काम करती है को दिया गया है उन्होंने बताया कि न्यूनतम मूल्य रबर फैक्ट्री की मशीन दिनों का 33 करोड़ रखा गया है इसी आधार पर ऑनलाइन ऑप्शन किया जाएगा इसी तरह दिल्ली में भी रबर फैक्ट्री की संपत्ति है उसका भी न्यूनतम मूल्य ₹8100000 रखा गया है।
रबड़ फैक्ट्री में टीम आने की सूचना पर स्थानीय कर्मचारियों में सत्येंद्र सिंह परसादी लाल गंगवार हैदर जहां धर्मपाल रविंद्र सिंह श्याम बिहारी शहद तमाम कर्मचारी भी पहुंच गए।
– बरेली से सौरभ पाठक