कुण्डलिनी जागरण के बाद ही मंत्र जपने पर उत्पन्न होती है शक्ति – गुरुदेव गोविन्द

बरेली। रविवार को सिद्धयोग शक्ति दरबार ट्रस्ट के तत्वाधान मे कुण्डलिनी जागरण साधना एवं मंत्रजाप का आयोजन हुआ। गुरुदेव गोविन्द जी ने शक्ति तरंगो को भेज कर कुण्डलिनी जागरण ध्यान करवाया। दोपहर 12 से प्रारंभ हुई यह साधना 2 बजे तक चली इस साधना मे अनेक साधक सम्मिलित हुए जो शक्ति तरंगे मिलते ही गहरे ध्यान में चले गए। कुछ साधकों को शारीरिक एवं मानसिक क्रियाएं हुई। दोपहर 2 बजे से 3 बजे तक मंत्र साधना प्रारंभ हो गई। गुरुदेव गोविंद जी ने बताया कि मंत्र तो पुस्तकों में भी लिखे हैं लेकिन उनको जपने पर कुछ लाभ नही होता जब तक कि जपने वाले की कुण्डलिनी शक्ति जागृत न हो। जब किसी साधक का कुण्डलिनी जागरण प्रारंभ हो जाता है तो उसके मंत्र जाप करने पर उसके मंत्र में शक्ति उत्पन्न होना प्रारंभ हो जाती है और फिर वह मंत्र जाप करके मनचाहा फल प्राप्त कर सकता है। यही कुण्डलिनी जागरण का रहस्य है इसलिए प्रत्येक व्यक्ति को अपनी कुण्डलिनी का जागरण करवाना अत्यंत आवश्यक है। गुरुमां आस्था जी ने बताया कि गुरुदेव गोविन्द जी सिद्धयोग शक्ति दरबार के माध्यम से पिछले 30 वर्षों से कुण्डलिनी जागरण शिविरों का आयोजन करते आ रहे है और समाज में गृहस्थ लोगों को कुण्डलिनी जागरण का महत्व समझा रहे है। शिविर में शशि मिश्रा, मधुर लता वर्मा, पूनम अग्रवाल, कंचन अग्रवाल, सुमिधा मेहरोत्रा, पुष्पी शर्मा, नेहा मिश्रा, अनामिका मेहरोत्रा, स्नेहा मिश्रा,राजीव शर्मा, विमल मेहरोत्रा, मुनीश राजपूत, मनोज सक्सेना, हर्षित अग्रवाल, अमर सिंह, वीर सिंह, अनिल अवस्थी, संदीप कुमार सहित अनेक साधक उपस्थित रहे। यह जानकारी ट्रस्ट के सचिव डॉ कमल किशोर मेहरोत्रा ने दी।।

बरेली से कपिल यादव

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