बरेली। अपर सत्र न्यायाधीश फास्ट ट्रैक प्रथम कोर्ट रवि कुमार दिवाकर ने आम आदमी पार्टी की शहर विधानसभा सीट से प्रत्याशी कृष्णा भारद्वाज पर हमले के आरोपी हिस्ट्रीशीटर ललित सक्सेना को उम्रकैद और 50 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है। उसके खिलाफ चार्जशीट दाखिल करने मे देरी के लिए सीओ प्रथम स्वेता यादव की भूमिका पर भी सवाल उठाए हैं। ललित सक्सेना पीलीभीत बाइपास कांड मे भी आरोपी है। उसके खिलाफ अलग-अलग थानों मे 20 संगीन आपराधिक मामले दर्ज है। थाना इज्जतनगर के मोहल्ला होली चौक परतापुर चौधरी निवासी चंद्रशेखर भारद्वाज की पत्नी कृष्णा भारद्वाज विधानसभा चुनाव मे शहर विधानसभा सीट से आम आदमी पार्टी की प्रत्याशी थी। 21 नवंबर 2021 को शाम सात बजे वह चुनाव प्रचार से वापस लौट रही थी। रास्ते में कुदेशिया फाटक के पास हिस्ट्रीशीटर ललित सक्सेना ने अपने तीन चार साथियों के साथ उनकी कार को घेर लिया। कृष्णा भारद्वार को कार से खींचने के बाद जान से मारने की नीयत से हमला कर दिया। इसमें वह गंभीर घायल हो गई। चंद्रशेखर भारद्वाज ने इज्जतनगर थाने मे मुकदमा दर्ज कराया था। अभियोजन पक्ष की ओर से छह गवाह पेश किए गए। कोर्ट ने दोनों पक्षों के वकीलों और गवाहों को सुनने के बाद गुरुवार को हमले के दोषी ललित सक्सेना को उम्रकैद व 50 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई। कोर्ट ने यह भी कहा कि ललित सक्सेना जैसे पेशेवर अपराधियों और माफिया पर सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। अदालत ने उच्च अधिकारियों व शासन को सीओ के विरुद्ध जांच का निर्देश दिया है।।
बरेली से कपिल यादव