पूर्णिया/ बिहार – जिस देश मे राजनीति की रोटी भूख और गरीबी का मुद्दा बनाकर जीता जाता है । जिस देश में हर चुनावी सभा मे सिर्फ बेरोजगार और बेरोजगारी का आलाप गढ़ा जाता है । जिस देश मे विकास की तेज गति की बात करते है ।
आज आइए हम आपको बदलती भारत की एक नायाब तस्वीर के साथ देश की वास्तवकि स्थिति से रु बरु कराते है । ये ऊपर जो आप तस्वीर देख रहे हैं ये बिहार के मधेपुरा जिला के मुरलीगंज थाना अंतर्गत नवटोल पड़वा गांव का है जहाँ एक अज्ञात व्यक्ति पिछले तीन दिनों से भूख और गरीबी से पूर्णिया सहरसा नेशनल हाईवे 107 के किनारे पड़ा हुआ है । हजारो लोग इस रास्ते से हर दिन गुजरते हैं पर किसी की नजर इस मर रहे गरीब के ऊपर नही पड़ी । इंसान और समाज को शर्मसार कर देने वाली ये घटना पर जब अंतिम विकल्प के टीम की नजर पड़ी तो उन्होंने इसकी पड़ताल करने की कोशिश की । स्थानीय लोगो से इस व्यक्ति के बारे में जानकारी प्राप्त करने की लाख कोशिश की पर । असमर्थ रहे , गांव के किसी लोग के पास इसकी पहचान की खबर नही है । पर स्थानीय लोगो का कहना है कि ये पिछले तीन दिनों से इसी प्रकार सड़क के किनारे पड़ा हुआ है । पुलिस और प्रशासन की गस्ती गाड़ी भी इस होकर गुजरती हैं पर
उनकी भी नजर इस ओर नही पड़ी और ये गरीब इंसान भूख और और गरीबी से सड़क कर किनारे पड़ा हुआ है । पर सोचने के लिए हम तो अपने उस बुद्धिजीवी समाज पर भी सोचने पर मजबूर हो जाते है कि आखिर हम किस समाज मे रहते हैं । जिसमे किसी के अंदर इंसानियत नाम की चीज ही नही बची है । किसी ने इस घटना की जानकारी पुलिस को नही दी । ये इस लिए की क्योंकि की वो भूख से मर रहे व्यक्ति उस समाज का हिस्सा नही है । उनका कोई अपना या रिस्तेदार नही है । फिर इसकी पहल अंतिम विकल्प न्यूज़ की टीम ने जिम्मा उठाया और वहाँ से 12 किलोमीटर बाइक चला कर मुरलीगंज थाना में थाना प्रभारी प्रशांत कुमार से मिलकर इसकी जानकारी दी । पुलिस ने त्वरित कार्यवाही करते हुए उचित कारवाई शुरू कर दी ।
जरा सा अपने दिमाग पर जोर देकर सोचिए क्या यही असली हिंदुस्तान है । सिर्फ मुम्बई, दिल्ली, बैंगलोर,कोलकाता में बड़ी बड़ी इमारत देख कर हम बदलते भारत का आकलन नही कर सकते । असली भारत और वास्तव में विकास का अनुभव तो गांव में जाकर पता चलता है ।
– शिव शंकर सिंह,पूर्णिया/ बिहार