आज़मगढ़- प्रदेश के मुख्यमन्त्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि संवाद हमारी सबसे बड़ी ताकत है, अधिकारीगण उस ताकत का निरन्त इस्तेमाल कर प्रदेश में कानून व्यवस्था बनाये रखते हुए विकास की गति को निर्वाध्या रूप से संचालित कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि संवाद वन-वे नहीं होना चाहिए बल्कि हर स्तर पर आमजन के साथ ही जनप्रतिनिधियों से हर स्तर पर निरन्तर संवाद बनाये रखें, जिससे समस्याओं का स्थानीय स्तर पर ही समाधान जाय और आमजन को समस्याओं के समाधान हेतु लखनऊ तक भागदौड़ करने से बचाया जा सके। मुख्यमन्त्री रविवार को आयुक्त कार्यालय के सभागार में मण्डल के तीनों जनपदों की कानून व्यवस्था एवं विकास कार्यक्रमों के अन्तर्गत विभिन्न बिन्दुओं पर समीक्षा कर रहे थे। उन्होने कानून व्यवस्था की समीक्षा के दौरान जनपद आज़मगढ़ में पर्याप्त संसाधन के उपरान्त भी आपराधिक घटनाओं में अपेक्षित कमी का अभाव मिलने तथा मऊ में रोक के बावजूद वाहनों पर लाल एवं नीली बत्तियों के प्रयोग पर अप्रसन्नता व्यक्त करते हुए सम्बन्धित पुलिस अधीक्षकों का तत्काल इसकी मानीटरिंग करते हुए प्रभावी कार्यवाही का निर्देश दिया। उन्होंने जनपद बलिया के सम्बन्ध में कहा कि बिहार से सटा होने के कारण यहाॅं अपराध और तस्करी की संभावनायें अधिक रहती हैं, इसलिए इस पर फोकस करना जरूरी है। इसके साथ ही उन्होंने सभी पुलिस अधीक्षकों को यह भी निर्देश दिया कि समाज विरोधी एवं राष्ट्र विरोधी तत्वों की गतिविधियों पर प्रभावी अंकुल लगाने हेतु थानावार टाॅंप-10 अपराधियों की सूची तैयार करें तथा किसी भी घटना घटित होने से पहले ही उनपर कठोर कार्यवाही की जाये ताक अन्य अपराधियों में कानून व्यवस्था का भय पैदा हो सके। उन्होंने वर्षों से एक ही स्थान पर कार्यरत एवं आपराधियों के साथ साठगाॅंठ रखने वाले पुलिस कर्मियों की सूची भी तैयार कर उन्हें अन्यन स्थानान्तरित करने का निर्देश देते हुए आगाह किया कि यदि कहीं भी कोई आपराधिक घटना होती है तो पूरे थाने के साथ ही सम्बन्धित सर्किल के अधिकारी को भी जिम्मेदार मानते हुए कार्यवाही की जायेगी। मुख्यमन्त्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि कानून व्यवस्था समाज की आधारशिला है, यदि यह सुदृृढ़ नहीं तो शेष कार्य आगे बढ़ा पाना संभव नहीं हो सकेगा। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार पर आम जनता का विश्वास होना जरूरी है, इसके लिए उनसे निरन्तर संवाद बनाये रखा जाना जरूरी है। उन्होने निर्देश दिया कि बाल अपराध, यौन अपराध, महिला अपराध सहित अन्य जघन्य अपराधों में यह सुनिश्चित किया जाये कि चार्जशीट आदि समय से दाखिल कराकर केस को फास्ट्रैक कोर्ट में ले जाकर उसकी प्रभावी पैरवी कराते हुए अपराधी को समय सीमा के अन्दर सजा करायें, ताकि अन्य अपराधियों को नसीहत मिल सके। उन्होने सभी पुलिस अधीक्षकों को निर्देश दिया कि किसी भी पुलिसकर्मी के विरुद्ध यदि अवैध वसूली की शिकायत मिलती है तो सम्बन्धित के विरुद्ध तत्काल एफआईआर दर्ज कराते हुए सख्त कार्यवाही सुनिश्चित की जाय। उन्होंने कहा कि युनिफार्म के बल पर अराजकता, अवैध वसूली, तस्करी आदि पर सख्ती से रोक लगाई जाय। मुख्यमन्त्री ने बाइकर्स द्वारा आयेदिन हो रही लूट की घटनाओं पर नाराजगी व्यक्त करते हुए निर्देश दिया कि लगातार पेट्रोलिंग कराते रहें बिना लाइसेंस, बिना हेल्मेट कोई भी वाहन चलाते हुए या स्टण्ट करते हुए पाया जाये तो तुरन्त नियमानुसार कार्यवाही करें, इसके साथ ही टूव्हीलर पर किसी भी दशा में दो से अधिक लोग नहीं होने चाहिए। इस अवसर पर मा0मन्त्री उपेन्द्र तिवारी, बलिया सांसद वीरेन्द्र सिंह, विधायक सुरेन्द्र सिंह व अरुण यादव, फागू चौहान, आईजी जोन श्री बृजभूषण मण्डलायुक्त कनक त्रिपाठी, डीआईजी मनोज तिवारी, जिलाधिकारी आज़मगढ़ नागेन्द्र प्रसाद सिंह, डीएम मऊ ज्ञान प्रकाश त्रिपाठी, डीएम बलिया भवानी सिंह खंगारौत, एसपी आज़मगढ़ त्रिवेणी सिंह, एसपी मऊ अनुराग आर्या, एसपी बलिया देवेन्द्र नाथ, अपर आयुक्त धर्मेन्द्र सिंह, संयुक्त विकास आयुक्त पीएन वर्मा, आज़मगढ, मऊ बलिया के मुख्य विकास अधिकारी क्रमशः डीएस उपाध्याय, डा0 अंकुर लाठर व बद्रीनाथ सिंह सहित अन्य मण्डलीय एवं जनपद स्तरीय अधिकारी उपस्थित थे।
रिपोर्ट:-राकेश वर्मा आजमगढ़