लखनऊ/बरेली – आज अली ज़ैदी (अध्यक्ष) की अध्यक्षता में उत्तर प्रदेश शिया सेंट्रल वक़्फ़ बोर्ड की बोर्ड बैठक इंदिरा भवन, हज़रतगंज स्थित बोर्ड कार्यालय में संपन्न हुई। बैठक में सभी सदस्यों ने भाग लिया केवल बोर्ड की सदस्या पूर्व सांसद बेगम नूर बानो, रामपुर का स्वास्थ ठीक ना होने के कारण वह बैठक में भाग ना ले सकी।
बोर्ड एजेंडा में विभिन्न जनपदों में वक्फ़ की प्रबंध समिति और मुतवल्लियों की नियुक्ति के मामलो की सुनवाई विचार विमर्श एवम् आदेश किए गए। बड़े औक़ाफ़ो में बिजनौर की दरगाह ए आलिया नजफ़ ए हिन्द, जोगीपुरा को बोर्ड ने अपने सीधे नियंत्रण में लेने का फ़ैसला लिया, वक़्फ दरगाह हज़रत अब्बास (अ) लखनऊ में मीसम रिज़वी की कमेटी का कार्यकाल बढ़ाया गया, दरिया वाली मस्जिद में मुतवल्ली ज़ुहेर मेहदी का कार्यकाल बढ़ा, मौलाना कलबे जवाद साहब को हरदोई रोड स्थित करबला अब्बास बाघ में पुनः प्रशासक नियुक्त किया गया। बोर्ड ने भ्रष्टाचार के मामलो में जीरो टॉलरेंस नीति के चलते कार्यवाही के मुख्य मामलो में अयोध्या (फ़ैज़ाबाद) स्थित मस्जिद खजूर की प्रबंध कमेटी के ख़िलाफ़ भ्रष्टाचार की शिकायतों की जाँच उपरांत उनके जवाबों से असंतुष्ट होकर दफ़ा 64 में नोटिस जारी किया। बोर्ड ने मुतवल्लियों की मनमानी और आय व्यय का ब्यौरा ना देने और आमदनी छुपाने के मामलो पर सख़्त नाराज़गी जताते हुवे भविष में और कड़ी कार्यवाही का निर्णय लिया। बोर्ड के अध्यक्ष अली ज़ैदी ने अहम फ़ैसले में इस महीने से प्रदेश भर के औक़ाफ में जानता द्वारा भ्रष्टाचार के मामलो की शिकायतों की सुनवाई के लिए कमेटी गठित कर स्पेशल सेशन एंड टाइमिंग जारी करने का निर्णय लिया।
बैठक में विशेष तौर से सदस्यों द्वारा वक़्फ अधिनियम संशोधन 2024 पर विचार विमर्श और चर्चा की गई। 14 नवंबर को लखनऊ में जेपीसी की स्टडी विज़िट के दौरान बोर्ड अपना पक्ष रखेगा।
– बरेली से तकी रज़ा