बरेली। जनपद के थाना फतेहगंज पश्चिमी क्षेत्र मे रबड़ फैक्ट्री की 1300 एकड़ से अधिक भूमि पर कब्जा लेने के लिए शासन के निर्देश पर जिला प्रशासन और यूपीसीडा के अधिकारियों ने सिविल कोर्ट में सिविल सूट दाखिल करने की तैयारी तेज कर दी है। शासकीय अधिवक्ता से राय ली जा चुकी है। वरिष्ठ अफसरों के बीच मंथन भी हो चुका है। प्रशासन और औद्योगिक विकास के बरेली और लखनऊ के वरिष्ठ अफसरों के बीच चर्चा होना बाकी है। अगस्त में ही सिविल सूट दायर होने की संभावना जताई जा रही है। पिछले महीने जुलाई में औद्योगिक विकास अनुभाग के उप सचिव निर्मेष कुमार शुक्ल की ओर से पत्र जारी कर रबड़ फैक्ट्री की भूमि के संबंध में सिविल सूट स्थानीय सिविल कोर्ट में दायर करने की अनुमति मिलने की जानकारी दी गई थी। दरअसल, चार साल से राज्य सरकार की ओर से जिला प्रशासन और यूपीसीडा संयुक्त रूप से बॉम्बे हाईकोर्ट मे दायर कंपनी लिक्विडेशन केस में पैरवी कर रहा है। वही जिलाधिकारी की ओर से बरेली में सिविल कोर्ट में सिविल सूट दाखिल करने के लिए शासन को पत्र लिखे गए। इनमें तहसील मीरगंज क्षेत्र के फतेहगंज पश्चिमी में बंद पड़ी सिंथेटिक एवं केमिकल्स प्राइवेट लिमिटेड (रबड़ फैक्ट्री) की भूमि को राज्य सरकार के पक्ष में लेने के संबंध में अलग से सिविल कोर्ट में सिविल वाद दायर किए जाने के लिए अनुमति मांगी थी। इस प्रकरण में कंपनी अधिनियम 1956 की धारा 446 के अंतर्गत हाई कोर्ट बॉम्बे में लीव एप्लीकेशन दाखिल किए जाने और सिविल कोर्ट बरेली में भूमि पर कब्जा राज्य सरकार के पक्ष में लिए जाने के लिए सिविल सूट दाखिल करने की तैयारी करने के लिए कागजात एकत्र किए जा रहे हैं। जिला शासकीय अधिवक्ता सिविल को भी सिविल सूट दायर करने के लिए नामित किया जा चुका है। रबड़ फैक्ट्री स्थापित करने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार ने 1960 के दशक में मुंबई के सेठ किलाचंद को 3.40 लाख रुपये लेकर 1382.23 एकड़ भूमि लीज पर दी थी। 15 जुलाई 1999 से फैक्ट्री बंद है। यूपीसीडा के क्षेत्रीय प्रबंधक मंसूर कटियार ने बताया कि सिविल सूट दायर करने की तैयारी तेजी से की जा रही है। जल्द सिविल सूट दायर किया जाएगा।।
बरेली से कपिल यादव