बरेली। भारतीय तिब्बत सीमा पुलिस बल बुखारा कैंप में हिंदी पखवाड़ा के अंतर्गत हिंदी भाषण प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में मूल्यांकन अधिकारी दिनेश चंद्र, सहायक सेनानी अनिल कुमार झा ने हिंदी भाषण में कोरोना के बढ़ते संक्रमण का भारत के आर्थिक स्थिति पर प्रभाव व निजात पाने के उपाय बताएं। प्रतियोगिता में 11 हिमवीरों ने प्रतिभाग किया। जिसमें प्रथम द्वितीय तृतीय स्थान प्राप्त करने वाले विजेताओं को हिंदी पखवाड़ा के समापन पर नगद पुरस्कार व प्रशस्ति पत्र प्रदान किया जाएगा। उन्होंने आगे बताया कि हिंदी भारतवर्ष की राजभाषा है एवं यह सभी भारतीय भाषाओं के हार की मध्य मणि की तरह जयजलमान है जो पूरे देश को एक संपर्क सूत्र एवं एकता की कड़ी में बांधती है। इससे भाषायी, सामाजिक समरसता के तहत आपसी भाईचारा व सद्भावना को बनाए रखने विभिन्नता में एकता के बीच भारतवर्ष की अखंडता को बनाए रखने में मदद मिलती है। भारत के संविधान के अष्टम अनुसूची 22 मे भारतीय भाषाओं को मान्यता प्रदान की गई है। इस प्रकार भारतीय तिब्बत सीमा पुलिस बल अपने नियमित ड्यूटी भारत चीन सीमा की चौकसी व अन्य ऑपरेशन गतिविधियों के अलावा संघ की राजभाषा नीति के अनुपालन हेतु राजभाषा हिंदी का शत प्रतिशत कार्यान्वयन और व्यापक प्रचार-प्रसार भी सुनिश्चित किया जा रहा है। जिससे समेकित के तौर पर बहुप्रतिक्षित चित दिन कभी जरूर आएगा जब राजभाषा हिंदी भारतवर्ष के क्षितिज पर हिंदी के रूप में अवतरित हो जाएगी।।
बरेली से कपिल यादव