बरेली। नगर निगम के बाहर धरना दे रहे ग्रामीणों मे एक साल की बच्ची विद्या की ठंड लगने से मौत हो गई। पूर्व पार्षद सुखदीश ने बताया कि बच्ची की तबीयत बिगड़ने पर राज्यमंत्री डॉ. अरुण कुमार को फोन कर एंबुलेंस भेजने के लिए कहा था। कुछ देर बाद एक एम्बुलेंस आई। धरना स्थल पर रुकी मगर वहां से कोई उतरा नही। इसके बाद चली गई। शनिवार की सुबह टेंपो से बच्ची को गांव भेज दिया। इधर वही धरने में शामिल कई और बच्चों की तबीयत बिगड़ रही है। कई बच्चे सर्दी की चपेट मे हैं। इधर ग्रामीणों का धरना अभी भी जारी है। नगर निगम क्षेत्र के गांव परसाखेड़ा गौटिया और गोकिलपुर में सड़क और बुनियादी सुविधाएं नही है। शुक्रवार की सुबह 10 बजे ग्रामीण नगर निगम के बाहर मांगों को लेकर इकठ्ठा हुए और धरने पर बैठ गए। धरने में ग्रामीणों के साथ पुष्पा अपनी एक साल की बेटी विद्या और सास हीराकली के साथ धरने में शामिल होने आई थी। देर रात ठंड लगने से बच्ची की तबीयत बिगड़ गई। पूर्व पार्षद ने बताया कि राज्यमंत्री डॉ अरुण कुमार को फोन कर एम्बुलेंस भेजने को कहा। कुछ देर बाद एक एम्बुलेंस आई। धरना स्थल पर रुकी मगर वहां से कोई उतरा नही। इसके बाद चली गई। इधर बच्ची सो गई तो लगा कि आराम मिल गया। शनिवार की सुबह पांच बजे टेंपो से बच्ची को मां के साथ गांव भेज दिया। गांव में तबीयत बिगड़ने पर उसकी मौत हो गई। पति हरिचंद्र मजदूरी करते है। वह दिन में धरने में नही आए थे मगर मजदूरी कर लौटे तो रात मे धरने मे शामिल हुए थे। बच्ची की तबीयत बिगड़ने पर शनिवार की सुबह पत्नी के साथ बच्ची को लेकर चले गए थे। पूर्व पार्षद और धरने का नेतृत्व कर रहे सुखदीश कश्यप ने बताया कि नगर आयुक्त ने देर रात तक कोई फैसला नही लिया। सिर्फ यही कहती रही कि घर चले जाए। यदि रात मे कोई फैसला ले लिया जाता तो वह लोग रात मे घर चले जाते तो शायद बच्ची की जान बच जाती।।
बरेली से कपिल यादव