वाराणसी- जंसा थाना क्षेत्र के दानुपुर गांव निवासी मोहन बनवासी के बहन सोनी गुरुवार को शादी थी।दिन भर शादी की तैयारी में परिवार के लोग लगे रहे।देर शाम मिर्जामुराद थाना क्षेत्र के छतरी गांव से बारात दानुपुर गांव में पहुची। रात्रि लगभग 8 बजे द्वारचार की रश्म शुरू हुयी थी कि उसी दौरान मोहन की पत्नी शीला की गोंद में बैठा आशीष बनवासी नीचे उतर कर डीजे देखने चला गया।उसके बाद से मासूम गायब हो गया।परिजनों ने मासूम की काफी खोजबीन किया लेकिन वह नही मिला। शुक्रवार को पूर्वाह्न उसकी रक्त रंजिश शव खेत मे मिला।हत्यारों ने मासूम के गुप्तांग पर चाकू से हमला करने के बाद उसके शरीर पर तेजाब डालने के बाद गला दबाने के बाद हत्या कर दी। घटना से पूरे क्षेत्र में आक्रोश फैल गया। हत्या की सूचना मिलते ही एसपी ग्रामीण अमित कुमार व सीओ सदर अंकिता सिंह के साथ कई थानों की फोर्स के साथ मौके पर पहुचकर शव को कब्जे में लेने का प्रयास किया लेकिन ग्रामीणों के प्रबल आक्रोश के आगे पुलिस को सफलता नही मिली।बल्कि पुलिस व ग्रामीणों में कई बार जमकर झड़प हुयी।परिजन डीएम व एसएसपी को मौके पर बुलाने की जिद पर अड़े थे। घटना की सूचना पाकर जिला पंचायत सदस्य हर्षवर्धन सिंह व ग्राम प्रधान कुंवर प्रताप सिंह मौके पर पहुचकर ग्रामीणों को समझा बुझाकर लोगो को शांत कराने के बाद शव पुलिस को सुपुर्द कर दिये।
मृतक की माँ शीला बनवासी का आरोप हैं कि हैं कि मेरी देवरानी मंजू बनवासी व उसके भाई ,पिता ने मिलकर मेरे मासूम पुत्र को अगवा कर उसकी हत्या कर शव को खेत मे फेंक दिये।मृतक के पिता मोहन बनवासी ने बताया कि मेरे भाई राजेश बनवासी की शादी जंसा थाना क्षेत्र के सत्तनपुर गांव निवासी द्वादशी की पुत्री की शादी पांच साल पूर्व हुयी थी।शादी के बाद से ही पति पत्नी के बीच विवाद चल रहा था।इस मामले में मंजू के पिता द्वारा दहेज उत्पीड़न का मुकादमा दर्ज करवाया था। आरोप हैं कि एक माह पूर्व मंजू ने हम लोगो को धमकी दिया था कि तुम्हारे शादी में हम खलल डालेंगे। मृतक दो भाई और दो बहनों में सबसे छोटा था।वह गांव के आंगनवाड़ी केन्द्र में पढ़ने जाता था।
रिपोर्टर-:चंद्रभान सिंह कपसेठी