राजस्थान/बाड़मेर- आजकल सब आधुनिक युग की चकाचौंध में रेडीमेड जीवनशैली जीना चाहतें हैं लेकिन हमारे पुरानी सस्कृति के बारे में बड़े बुजुर्गों द्वारा कहीं गईं सुख दुःख की बातें सुनकर बच्चे ऐसा महसूस करते हैं जैसे वो सतयुग का जमाना था और आजकल वास्तव में कलयुग आ गया है इसमें कोई दौराय नहीं। बाड़मेर मुख्यालय में विधुत विभागीय परिसर में बहुत दिनों बाद अपनों को देखकर विचार व्यक्त किया अधिक्षण अभियन्ता के पद पर पदोन्नति मिलने पर अधिशाषी अभियन्ता विधुत कैलाश कुमार ने अपने विधार्थी मित्रों से लेकर दो दशकों की विधुत विभागीय कर्मचारियों के साथ पिछले कार्यकाल बाड़मेर जैसलमेर में बिताए हुए पलों की बहुत याद आती है।जैसे रेगिस्तान में आज जहाँ देखोगे वही पर बिजली की सुविधाएं उपलब्ध हो रही है पहले विरान सा रेगिस्तान में लोग लालटेन और चिमनियों की रोशनी में पढकर सरकारी नौकरियां प्राप्त करते थे लेकिन अब तो जहाँ देखोगे वही पर बिजली ही बिजली की चकाचौंध।
कुमार ने कहा कि सबसे पहले फीडर मैनेजर सहायक अभियन्ता की नौकरी के साथ ही समयानुसार विभागीय पदोन्नति हुईं और अब अधिक्षण अभियन्ता का पद मिला है तो विभागीय जिम्मेदारियां भी बढेगी सबको साथ लेकर चलेगे तो ही हम कामयाबी हासिल करेंगे। जैसलमेर जिले में नियुक्तियों के दौरान सोलर प्लांट जो सूर्य के प्रकाश से बिजली बनाता है, जबकि विंड प्लांट पवन प्लांट हवा से बिजली बनाते हैं इन्हें शुरू करवाना सबसे बड़ी जिम्मेदारी थीं लक्ष्य को समय पर पूरा किया था,साथ ही लगभग दो हजार कृषि कनेक्शनों को जारी करते हुए किसानों के चेहरे पर खुशी थीं उस दौरान दो नये ग्रिड सब स्टेशनों को बनाया गया था। ग्रिड स्टेशन बिजली उत्पादन और वितरण से संबंधित एक महत्वपूर्ण स्थान होता है जहाँ पर बिजली को एक वोल्टेज स्तर से दूसरे में बदला जाता है ताकि विधुत व्यवस्था को दूर तक वितरित किया जा सके इससे ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में बिजली की आपूर्ति में सुधार करना, लोड और वोल्टेज की समस्याओं को कम करना और बिजली कटौती से राहत मिलती है। राज्य सरकार द्वारा नए ग्रिड सब स्टेशन बनाए जा रहे हैं ताकि किसानों को दिन में बिजली मिल सके और बिजली आपूर्ति में सुधार होगा।
– राजस्थान से राजूचारण
