बरेली – 10 जुलाई सन् 1982 से नियमित मासिक काव्य गोष्ठी कराने वाली बरेली जनपद की लोकप्रिय साहित्यिक संस्था- कवि गोष्ठी आयोजन समिति के तत्वावधान में स्थानीय लक्ष्मी पुरम हार्टमैन में कवि गोष्ठी का आयोजन किया गया। कार्यक्रम डॉ राजेश शर्मा के संयोजन में हुआ। कार्यक्रम की अध्यक्षता संस्थाध्यक्ष रणधीर प्रसाद गौड़,धीर ने की।
कार्यक्रम का शुभारंभ माँ शारदे के समक्ष दीप प्रज्ज्वलन एवं माल्यार्पण कर हुआ। वंदना मोहन चंद्र पांडेय ने प्रस्तुत की।
कवि गोष्ठी में कवियों- शायरों ने सभी को ईद की बधाई देते हुए अपनी रचनाओं के माध्यम से देश में अमन, चैन, आपसी भाईचारा ,सद्भाव एवं सौहार्द का संदेश दिया और देर शाम तक शमाँ बाँधे रखा।
रणधीर प्रसाद गौड़ ‘धीर’ ने अपनी रचना इस प्रकार प्रस्तुत की-
आप आ जाएँ गर जिंदगी में,
मन के मन्दिर में बस जाएँ आकर
ईद-होली भी तब ही सफ़ल हैं
जब मिले आपका रुए अनवर।
गीतकार उपमेंद्र सक्सेना एडवोकेट ने अपनी रचना के माध्यम से कहा कि हिंदू हो या मुसलमान हो, लहू सबका लाल ही होता,
झेलें सब दु:ख-दर्द एक सा भाईचारा ही सुख बोता।
ईद यहाँ अपनापन लाती, जिससे अब सूनापन खोता,
मिट जाती जब मन की पीड़ा, मानव यहाँ चैन से सोता।। इसी प्रकार कार्यक्रम कई कवियों और शायरों ने अपनी-अपनी रचनाएं सुनाकर सभी को ताली बजाने को मजबूर कर दिया ,
कार्यक्रम में सर्व श्री संस्थाध्यक्ष रणधीर प्रसाद गौड़ ‘धीर’,सचिव उपमेंद्र सक्सेना एड.,डॉ राजेश शर्मा,राममूर्ति गौतम,डॉ शिव शंकर यजुर्वेदी, आंनद पाठक,सरिता अग्निहोत्री, सत्यवती सिंह ‘सत्या”, अमित मनोज, उमेश त्रिगुणायत, विजय चक्रवर्ती, राम कुमार कोली,ब्रजेन्द्र अकिंचन, रामशंकर प्रेमी, राम कुमार अफरोज,किशन बेधड़क, रीतेश साहनी एवं व्यास नंदन शर्मा आदि उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन ‘मनोज दीक्षित टिंकू ने किया।
बरेली से संवाददाता डॉक्टर मुदित प्रताप सिंह की रिपोर्ट