बदायूं, बरेली। राष्ट्रीय मध्याह्न भोजन कर्मी रसोइया कल्याण समिति के बैनर तले अंबेडकर पार्क बदायूं में मिड डे मील रसोइयों की बैठक हुई। जिसमें इलाहाबाद हाईकोर्ट के आदेश का स्वागत करते हुए कहा कि सरकार इस आदेश का कड़ाई से पालन कराएं और न्यूनतम वेतनमान दिया जाए। बैठक मे तय हुआ कि डीएम को पत्र देकर हाईकोर्ट का आदेश पालन कराने की मांग की जाएगी। समिति के राष्ट्रीय संयोजक अजीत सिंह यादव ने कहा कि इलाहाबाद हाईकोर्ट ने सरकारी व अर्द्ध सरकारी प्राइमरी स्कूलों मे मिड-डे मील (MDM) बनाने वाले रसोइयों के पक्ष में ऐतिहासिक फैसला दिया है। रसोइयों को एक – डेढ़ हजार रूपये वेतन देने को कोर्ट ने माना कि सरकार रसोइयों से बंधुआ मजदूरी करा रही है। राष्ट्रीय मध्याह्न भोजन कर्मी रसोइया कल्याण समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष मृदुलेश यादव ने बताया कि हाईकोर्ट ने कहा है कि सरकार न्यूनतम वेतन से कम वेतन नही दे सकती। यह फैसला न्यायमूर्ति पंकज भाटिया ने रसोइया चंद्रावती देवी की याचिका को स्वीकार करते हुए 15 दिसंबर को दिया है। कोर्ट ने केंद्र व राज्य सरकार को निर्देश दिया है कि मिड-डे-मील बनाने वाले प्रदेश के सभी रसोइयों को न्यूनतम वेतन अधिनियम के तहत निर्धारित न्यूनतम वेतन का भुगतान करे। लोकमोर्चा की कार्यसमिति सदस्य प्रियंका यादव ने रसोइयो के आंदोलन को लोकमोर्चा की ओर से समर्थन दिया। डॉ शीबा आजमी ने संबोधित करते हुए कहा कि रसोइयों का शोषण नहीं होने दिया जाएगा। जिला संयोजक राकेश सोलंकी ने कहा कि हाईकोर्ट के आदेश को लागू कराने को संघर्ष तेज किया जाएगा। जिलाध्यक्ष नेमवती कश्यप व जिला सचिव शायशा ने कहा कि हाईकोर्ट के आदेश से रसोइयों की जिन्दगी बदल जाएगी। उन्होंने सभी रसोइयों से संगठन में शामिल होकर संघर्ष आगे बढ़ाने की अपील की है। बैठक मे जिला उपाध्यक्ष तुलसी, महामंत्री सत्यवीर, कन्यावती, सीमा, पिंकी, कुसमा, गंगा देवी, भगवान देवी, सर्वेषा, सुषमा, बिमला, राधा, मोरकली, मुन्नी देवी, राम दुलारी समेत दर्जनों रसोइया मौजूद रही।।
बरेली से कपिल यादव