राजस्थान- भारत पाकिस्तानी सरहदों पर स्थित बाड़मेर जिले के शिव विधायक रविन्द्र सिंह भाटी ने पश्चिमी राजस्थान के किसानों, गौवंश और ग्रामीणों के अधिकारों की रक्षा के लिए अपने संघर्ष को प्रतिबिंबित करते हुए कहा, “जनता के अधिकारों की लड़ाई में मुकदमे मेरी सेवा का प्रमाण हैं” विधायक भाटी ने कहा कि पश्चिमी राजस्थान में लग रहे ऊर्जा संयंत्रों से कंपनियां भविष्य में करोड़ों-अरबों का मुनाफा कमाएंगी। लेकिन जिस जमीन पर ये पूंजी बनाई जाएगी, उस जमीन के मालिक किसानों को मामूली मुआवजा देकर चुप कराया जा रहा है। उन्होंने चिंता व्यक्त की कि यदि किसानों की जमीनें उनसे छिन जाएंगी, तो उनकी आने वाली पीढ़ियां कैसे जीवन-यापन करेंगी। जनसंघर्ष और सरकार की प्रतिक्रिया भाटी ने कहा कि किसानों और जनता के अधिकारों की रक्षा के उनके प्रयासों के कारण पिछले एक साल में उन पर राजस्थान में सबसे अधिक मुकदमे दर्ज किए गए। लेकिन इन दबावों के बावजूद, उन्होंने जनता की आवाज़ बुलंद करना जारी रखा। प्रमुख घटनाओं का ज़िक्र करते हुए उन्होंने कहा: 1. बालोतरा में पुलिस बर्बरता: पुलिस द्वारा लोगों पर बल प्रयोग और गाड़ियों की जब्ती के बावजूद, जनता के समर्थन से प्रशासन को उनकी मांगें माननी पड़ीं। 2. बईया में जबरन भूमि अधिग्रहण: पुलिस और प्रशासन की मदद से जबरदस्ती काम कराने का प्रयास हुआ, लेकिन संघर्ष के जरिए गौवंश के लिए बईया की ओरण और गौचर को बचाने में सफलता मिली। 3. शिव क्षेत्र में हाई टेंशन लाइनों के मामले में मुआवजा वृद्धि: किसानों को बिजली के पोल की कीमतों के मुआवजे में 50-80 हजार की बजाय अब औसतन ढाई से तीन लाख रुपये मिल रहे हैं, जिससे सैकड़ों किसानों को सीधा लाभ हुआ। किसानों और ग्रामीणों में जागरूकता की लहर भाटी ने कहा कि बाड़मेर के अंतिम गांव से लेकर जैसलमेर और बीकानेर तक अब ग्रामीणों और किसानों में जागरूकता फैल चुकी है। उन्हें समझ आ गया है कि उनके अधिकारों के लिए आवाज उठाना किसी भी तरह का अपराध नहीं है।
उन्होंने कहा, “पुलिस और प्रशासन सर्वोच्च नहीं होते; लोकतंत्र में न्यायालय ही सर्वोच्च है। कानून के दायरे में रहते हुए संघर्ष करना हमारी जिम्मेदारी है।” लोकतंत्र और जनसेवा का संदेश भाटी ने मुकदमों को अपने संघर्ष का प्रमाण बताते हुए कहा, “सरकार के मुकदमे मेरे लिए गर्व का विषय हैं। जैसे एक सिपाही अपनी छाती पर गोलियां सहता है, वैसे ही जनता की भलाई के लिए मुकदमों का सामना करना मेरा कर्तव्य है।” नेताओं से एकजुटता की अपील उन्होंने बाड़मेर और जैसलमेर में भाजपा और कांग्रेस के नेताओं से अपील की कि राजनीति अपनी जगह है, लेकिन जनता के हितों की रक्षा के लिए सभी को एकजुट होना चाहिए।
उन्होंने कहा, “किसानों, गरीबों और ग्रामीणों के घरों पर हर छोटी बात पर पुलिस-प्रशासन की लाठीचार्ज जैसी घटनाओं के खिलाफ हमें मिलकर आवाज उठानी होगी। सिस्टम के इस तानाशाही रवैये को रोकना जरूरी है।” सरकार और प्रशासन से आग्रह विधायक भाटी ने सरकार और प्रशासन से अपील की कि वे समझें कि जनता अब जागरूक हो चुकी है। उन्होंने कहा, “अगर हमें अगली पीढ़ी के लिए कुछ बचाकर रखना है, तो किसानों के हक में संघर्ष को प्राथमिकता देनी होगी।” उनका स्पष्ट संदेश था कि लोकतंत्र तभी जीवित रह सकता है जब हर नागरिक अपने अधिकारों के लिए जागरूक और संघर्षशील रहेगा।
– राजस्थान से राजूचारण