आजमगढ़- रेल राज्यमंत्री मनोज सिन्हा द्वारा लगातार की जा रही जिले की उपेक्षा व इंटरसिटी एक्सप्रेस आजमगढ़ के बजाय मऊ, औड़िहार, जौनपुर वाया शाहगंज होते हुए लखनऊ तक चलाये जाने से नाराज लोगों ने मंगलवार को पल्हनी स्थित रेलवे स्टेशन पहुंच कर स्टेशन अधीक्षक के माध्यम से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को ज्ञापन सौंपा। इस दौरान लोगों ने सरकार और पीएम मोदी को उनके द्वारा 2014 में वाराणसी से लालगंज वाया गोरखपुर तक नई रेल लाइन बिछाने का किया गया वादा भी याद दिलाया और कहा कि फिर चुनाव आयेगा, तब हम भी इस उपेक्षा का बदला लेंगे।
एसके सत्येन ने कहा कि आजमगढ़ ट्रेन संख्या के आधार पर पूर्वोंत्तर रेलवे का सर्वाधिक आय वाला स्टेशन है, लेकिन आजादी के बाद 70 सालों में इस जिले की निरंतर उपेक्षा हुई जिसके कारण यह जनपद रेल यातायात के मामले में निरंतर पिछड़ता जा रहा है। वर्ष 2014 के चुनाव में अपनी सभा में पीएम मोदी ने वाराणसी लालगंज वाया आजमगढ़ होते हुए गोरखपुर तक नई रेल लाइन का वादा किया था लेकिन यह वादा भी पूरा नहीं हुआ।
उन्होंने कहा कि जब पड़ोसी जनपद गाजीपुर के सांसद मनोज सिन्हा रेल राज्यमंत्री बने तो काफी उम्मीद थी कि वे पूर्वांचल के विकास पर ध्यान देंगे लेकिन वे पूरी तरह से अपने गृह जनपद के मंत्री बनकर रह गये। आजमगढ़ को चार साल में कोई परियोजना नहीं मिली। यहां तक कि मंत्री द्वारा वाराणसी और गोरखपुर की भी उपेक्षा की गयी। कहने के लिए आजमगढ़ माडल रेलवे स्टेशन है लेकिन यहां प्लेटफार्म तक का निर्माण नहीं हो पा रहा है। अब इंटरसिटी एक्सप्रेस को भी आजमगढ़ से होकर नहीं चलाया जा रहा है जो रेल राज्यमंत्री की ओछी मानसिकता को दर्शता है। यदि यहीं हाल रहा तो आजमगढ़ के लोग आने वाले चुनाव में सरकार को विरोध करने के लिए बाध्य होंगे। अगर सरकार को इस जिले की चिंता है तो प्रधानमंत्री अपने वादे को पूरा करें। ज्ञापन सौंपने वालों में दीपक कुमार, रवींद्र यादव, रियाज अहमद, अभय यादव, आनंद गुप्ता, विजय चौरसिया, सलीम, ज्ञानेंद्र सिंह, पारस सोनकर, बब्लू आदि शामिल थे।
प्रमुख मांगे–
1.वाराणसी-लालगंज-आज़मगढ़-गोरखपुर प्रस्तावित रेलवे लाइन को कैबिनेट द्वारा जल्द से जल्द मंजूरी दी जाए और शिलान्यास किया जाए ताकि पूर्वांचल का सर्वांगीण विकास हो सके।
2.फेफना-इन्दारा और मऊ-आज़मगढ़-शाहगंज लाइन का दोहरीकरण और विद्युतीकरण का काम जल्द से जल्द शुरू किया जाए (23 अक्तूबर 2016 को शिलान्यास हो चुका है)।
3. आज़मगढ़ अकबरपुर(अम्बेडकर नगर) लाइन जिसकी घोषणा पूर्व रेलमंत्री ममता बनर्जी ने किया था का सर्वे किया जाय।
4.प्रस्तावित नई ट्रेन आज़मगढ़-लखनऊ इंटरसिटी शुरू की जाए, आज़मगढ़ से लखनऊ प्रतिदिन रोडवेज की 47 बसें चलती हैं।
5.प्रस्तावित नई ट्रेन आज़मगढ़-इलाहाबाद इंटरसिटी शुरू की जाए क्योंकि आज़मगढ़ से इलाहाबाद के लिए कोई पैसेंजर या इंटरसिटी ट्रेन नहीं है और और अगले वर्ष आयोजित कुम्भ मेला हेतु यह अति आवश्यक है।
6. 11053/54 आज़मगढ़-लोकमान्य तिलक एक्सप्रेस को प्रतिदिन चलाया जाए और इसकी समय सारणी में सुधार किया जाए।
7. 13137/38 आज़मगढ़-कोलकाता एक्सप्रेस को प्रतिदिन चलाया जाए और इसके डिब्बों की संख्या बधाई जाए।
8. 15025/26 मऊ-आनंद विहार एक्सप्रेस को प्रतिदिन चलाया जाए और इसमें एसी कोच लगाया जाए।
9. आज़मगढ़ और मऊ को पूर्वोत्तर भारत से जोड़ने के लिए आज़मगढ़-डिब्रूगढ़ साप्ताहिक एक्सप्रेस नई ट्रेन चलाई जाए।
10. आज़मगढ़ जौनपुर मऊ के करोड़ों लोगों की सुविधा को देखते निम्न ट्रेनों को वाया मऊ आज़मगढ़ शाहगंज चलाया जाए।
-15023/24 गोरखपुर यशवंतपुर एक्सप्रेस।
-11037/38 गोरखपुर पुणे एक्सप्रेस।
-12511/12 गोरखपुर तिरुअनंतपुरम राप्तीसागर सुपरफ़ास्ट एक्सप्रेस।
11.आज़मगढ़ “आदर्श” स्टेशन पर यात्री सुविधओं जैसे सर्कुलेटिंग एरिया में पीने का पानी, पे और यूज़ शौचालय, पैसेंजर हाल, इस्कलेटर और लिफ्ट इत्यादि का निर्माण किया जाए।
12. आज़मगढ़ ज़िले में स्थित सभी रेलवे स्टेशन पर उन्नत यात्री सुविधाओं का विकास किया जाए।
13. प्लेटफार्म 2, 3 व 4 का निर्माण शुरू किया जाय।
14. आज़मगढ़ स्टेशन पर 8 वर्षों से निर्माणाधीन प्लेटफार्म 2 और 3 के बचे हुए काम को पूरा करने के लिए समय सीमा का निर्धारण किया जाए।
15. आज़मगढ़ स्टेशन पर धूप और बारिश से बचने हेतु सभी प्लेटफार्मों पर पर्याप्त कवर शेड लगाए जाए।
16. आज़मगढ़ स्टेशन पर 600 मीटर की वाशिंग पिट का निर्माण जल्द से जल्द पूरा किया जाए और यहाँ से लम्बी दूरी की ट्रेने बनाकर चलायी जाए।
17. आज़मगढ़ स्टेशन पर 600 मीटर की इस्टेबलिंग लाइन बनाई जाए ताकि वाशिंग पिट में जाने से पहले और बाद में ट्रेने यहाँ पर खडी हो सके।
18. यात्री सुविधाओं के विकास के लिए रेक हैंडलिंग और मालगोदाम को आज़मगढ़ स्टेशन से किसी दूसरे स्टेशन (फरिहा या रानी की सराय) पर शिफ्ट किया जाए।
रिपोर्ट-:राकेश वर्मा आजमगढ़