बरेली। रुहेलखंड यूनिवर्सिटी के 50वें स्थापना दिवस पर अटल सभागार में स्वर्ण जयंती स्थापना दिवस कार्यक्रम आयोजित हुआ। अंतिम समय में कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल का आगमन निरस्त हो गया। उन्होंने ऑनलाइन जुड़कर विश्वविद्यालय के स्वर्ण जयंती द्वार का उद्घाटन किया। इसके बाद विश्वविद्यालय के दीक्षांत समारोह के दौरान शेष रह गए मेधावी छात्र-छात्राओं को डिग्रियों और गोल्ड मेडल का वितरण किया गया। इसके अतिरिक्त खेल की दुनिया में देश-विदेश में विश्वविद्यालय का नाम रोशन करने वाले छात्रों को भी सम्मानित किया गया। राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने ऑनलाइन विद्यार्थियों, शिक्षकों और अतिथियों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि रुहेलखंड विश्वविद्यालय ने एनजीओ के सहयोग से चार लाख मरीजों को टीबी मुक्त किया है लेकिन इसके बाद उसका अगला कदम बेटियों के स्वास्थ्य को सुनिश्चित करना होना चाहिए। उन्होंने सभी शैक्षिक संस्थानों में बेटियों का हीमोग्लोबिन टेस्ट कराने की जरूरत पर जोर देते हुए कहा कि इससे बेटियों की सेहत के प्रति जागरूकता बढ़ेगी। विश्वविद्यालय उनके लिए गर्भ संस्कार जैसे महत्वपूर्ण पाठ्यक्रम शुरू करें ताकि उन्हें बच्चों की जन्म संबंधी आवश्यक जानकारी मिल सके। राज्यपाल ने सभी शिक्षकों और अधिकारियों से इस महत्वपूर्ण मुद्दे पर ध्यान देने की अपील की। राज्यपाल ने कहा कि रुहेलखंड यूनिवर्सिटी ने पिछले कुछ समय में विभिन्न विदेशी संस्थाओं के साथ एमओयू किए हैं लेकिन ध्यान रखा जाए कि ये करार सिर्फ कागजों तक सीमित न रह जाएं। छात्रों को विदेशी संस्थानों में भेज कर ट्रेनिंग दिलाई जाए ताकि उन्हें व्यवहारिक ज्ञान के साथ डिग्री भी प्राप्त हो सके। मुख्य अथिति सहकारिता राज्य मंत्री बीएल वर्मा, उच्च शिक्षा राज्य मंत्री रजनी तिवारी और सांसद छत्रपाल गंगवार आदि मौजूद रहे।।
बरेली से कपिल यादव