बरेली। शहरवासियों को जल्द ही आस्था और पर्यटन का नया केंद्र मिलने जा रहा है। बरेली विकास प्राधिकरण द्वारा रामगंगानगर मे विकसित की जा रही रामायण वाटिका अब आम जनता को समर्पित करने की अंतिम तैयारी में है। इस भव्य वाटिका मे भगवान श्रीराम की 51 फीट ऊंची प्रतिमा की स्थापना शुरू हो चुकी है। जिसे प्रसिद्ध मूर्तिकार राम सुथार ने नोएडा मे तैयार किया है। करीब आठ करोड़ रुपये की लागत से बनी यह वाटिका उत्तर भारत की पहली ऐसी परियोजना होगी। जहां रामायण के विभिन्न प्रसंगों को चौपाइयों और दृश्य रूपांतरणों के माध्यम से जीवंत किया गया है। यहां एक विशेष पैदल पथ भी बनाया गया है। जिसके दोनों ओर भगवान राम के वनवास यात्रा के दृश्य और उससे जुड़े औषधीय पौधे लगाए गए है। जिनका उल्लेख रामायण मे रामबाण वन के दौरान आता है। वाटिका में कैंटीन, प्लेग्राउंड और बच्चों के लिए मनोरंजन क्षेत्र भी विकसित किया गया है, जिससे यह स्थान न केवल भक्ति का केंद्र बनेगा बल्कि परिवारों के लिए एक आकर्षक पर्यटन स्थल भी होगा। बीडीए का लक्ष्य है कि रामायण वाटिका को नवरात्र के मौके पर मुख्यमंत्री के हाथों जनता को समर्पित कर दिया जाए। यदि किसी कारणवश कार्य में विलंब होता है, तो दिवाली तक इसे आम नागरिकों के लिए खोल दिया जाएगा। एक्सईएन एपीएन सिंह ने कहा है कि रामायण वाटिका न केवल धार्मिक और सांस्कृतिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि यह बरेली को आध्यात्मिक पर्यटन की नई पहचान भी देगी। यह जनता को जल्द समर्पित होगी।।
बरेली से कपिल यादव