उत्तराखंड/पौड़ी गढ़वाल- उत्तराखंड स्थाई राजधानी की मांग काे लेकर यूकेडी, कांग्रेस , स्थाई राजधानी संघर्ष समिति व गैरसैण क्रांति माेर्चा के आंदोलनकारियाें ने गैरसैंण में ऐतिहासिक बजट सत्र की शुरुआत राज्यपाल केके पॉल के अभिभाषण से हो गई है। सत्र शुरू होते ही विपक्ष आक्रामक हो गया। सदन के भीतर सरकार को घेरने के लिए कांग्रेस ने कमान संभाली हुई है तो बाहर उत्तराखंड क्रांति दल (यूकेडी) अप्रत्याशित रूप से एकाएक सामने आ गया है।नमन चंदाेला एंव मनीष सुंदरियाल टावर पर ।एसपी चमोली की गाड़ी भी रोकी गयी।
गैरसैंण में आज से शुरू बजट सत्र के पहले ही दिन गोपेश्वर भराड़ीसैंण रास्ते को दिवालीखाल के पहले यूकेडी कार्यकर्ताओं ने जाम कर दिया, जिससे वहां से आगे कोई भी मीडियाकर्मी नहीं पहुंच पाया। ये पहला मौका है जब उक्रांद कूटनीति के तहत ऐसा प्रदर्शन कर रही है। जाम की स्थिति को देखते हुए ऐसा माना जा रहा है कि यूकेडी के करीब 100 व अन्य आंदोलनकारी कार्यकर्ताओं ने बड़े सुनियोजित ढंग से ऐसे स्थान पर अपना धरना प्रारंभ किया जो भराड़ीसैंण स्थित विधानभवन से मात्र 6 किलोमीटर दूर है।
परिस्थिति को देखते हुए वैसे तो वहां पर पर्याप्त मात्रा में पुलिस बल मौजूद है और स्थिति को नियंत्रण में किए हुए हैं लेकिन यूकेडी कार्यकर्ताओं ने पिछला डेढ़ घंटे से कोई भी वाहन आगे नहीं जाने दिया है। यहां तक कि पुलिस और मीडियाकर्मियों के बार-बार आग्रह करने के बाद भी धरने पर बैठे यूकेडी कार्यकर्ताओं ने उनकी बात मानने से इनकार कर दिया है। यूकेडी व स्थाई राजधानी संघर्ष समिति के युवाओं ने मीडियाकर्मियों के साथ चमोली एसपी तृप्ति भट्ट की गाड़ी को भी रास्ते पर ही रोक दिया था। हालांकि, काफी मान-मनोव्वल के बाद एसपी की गाड़ी को आगे जाने दिया गया।
आंदोलनकारियाें ने पहले अपनी इस मंशा को जाहिर नहीं किया था लेकिन सत्र के पहले ही दिन सरकार पर राजधानी की मांग को लेकर दबाव बनाने की कोशिश करते हुए रास्ते जाम कर दिए हैं।विधानसभा कूच
यूकेडी ने भराड़ीसैंण से होते हुए गैरसैंण विधानसभा पहुंचने के लिए सभी कार्यकर्ताओं के साथ मिलकर कूच किया। इन्हे रोकने के लिए मौके पर भारी पुलिस बल तैनात रही। पुलिस ने बैरिकेडिंग लगाकर कार्यकर्ताओं को विधानसभा पहुंचने से रोकने की कोशिश की। इस दौरान कार्यकर्ताओं और पुलिस के बीच जमकर धक्का-मुक्की हुई।
पुलिस बल भी मौके पर तैनात
पिछले कई घंटों से यूकेडी ने एक भी वाहन को भराड़ीसैंण से आगे बढ़ने नहीं दिया था। परिस्थिति को देखते हुए मौके पर पुलिस बल भी पहुंची। अब यूकेडी धरने से उठकर विधानसभा कूच की ओर आगे बढ गई है। यूकेडी का कहना है कि पिछले 17 सालों में किसी भी सरकार द्वारा गैरसैंण को स्थायी राजधानी बनाने में कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई है, जो दुर्भाग्यपूर्ण है। जबतक गैरसैंण को स्थायी राजधानी घोषित नहीं किया जाता तबतक सरकार को पूरे प्रदेश में आंदोलन का सामना करना पड़ेगा।
– इन्द्रजीत सिंह असवाल,पौड़ी गढ़वाल