सहारनपुर/नागल- एक तरफ जहां राज्य सरकार सर्व शिक्षा अभियान व पढेगी बेटियां तो बढ़ेगी बेटियां जैसे अच्छे कार्य कर शिक्षा की ओर अग्रसित कर स्कूलों में बच्चों के लिए मिड डे मील की व्यवस्था को और सुदृढ़ कर रही है, तो वही विकासखंड क्षेत्र के गांव महमूदपुर में मार्च 2022 में स्कूली छात्रों को दिया जाने वाला राशन मीडिया के हस्तक्षेप के बाद गुरुवार को बांटा गया।
बताते चलें कि कोरोना काल के दौरान सरकार द्वारा स्कूलों में बनाए जाने वाला मिड डे मील का राशन छात्रों को राशन डीलर की मार्फत बंटवाया गया था। महमूदपुर में 181 छात्र छात्राओं का करीब 19 कुंतल राशन की आखरी खेप मार्च 2022 में राशन डीलर को दी गई। जिसे ग्राम प्रधान ने मिलीभगत कर छात्र छात्राओं को वितरण नहीं किया। ग्रामीणों ने मौखिक रूप से इसकी शिकायत खंड शिक्षा अधिकारी तथा स्थानीय मीडिया कर्मियों को दी। जिस पर गांव पहुंचे मीडिया कर्मियों ने जब इस संबंध में प्राथमिक विद्यालय प्रधानाध्यापक श्रीमती उषा रानी तथा कार्यवाहक प्रधानाध्यापक कंवरपाल सिंह से बात की तो उन्होंने बताया कि विद्यालय द्वारा सभी बच्चों को पर्चियां दे दी गई है। राशन वितरण की जिम्मेदारी राशन डीलर की है। राशन डीलर ने बताया कि छात्र-छात्राओं को दिए जाने वाला राशन ग्राम प्रधान उठा ले गए हैं। इस संबंध में छात्र-छात्राओं ने बताया कि जब वह पर्चियां लेकर परिजनों के साथ राशन डीलर के यहां पहुंचे तो उन्हें ग्राम प्रधान के यहां भेज दिया गया जबकि ग्राम प्रधान ने राशन देने से मना कर दिया। चार महीने तक इधर उधर घूमने के बाद भी उन्हें राशन नहीं दिया गया तो तब बुधवार को मीडिया कर्मियों द्वारा मामला उठाए जाने के बाद गुरुवार को कक्षा सात के बच्चों को राशन का वितरण किया गया। बाकि कक्षा सात के बच्चो को छोड़कर कक्षा एक से कक्षा आठ तक के बच्चो को भी जल्द ही राशन वितरण किए जाने की उम्मीद है।
सवाल यह उठता है कि सरकार प्रत्येक तबके को लाभ देने के लिए तरह-तरह की योजनाएं देती रही है लेकिन कुछ लोगों के द्वारा सरकार को बदनाम करने की नियत से सिर्फ और सिर्फ अपना स्वार्थ पूरा किया जा रहा है। शासन को चाहिए कि ऐसे लोगों के खिलाफ कठोर कार्रवाई कर सबक सिखाया जाए।