बरेली। विश्व हरेला महोत्सव परिवार की ओर से रविवार को आईएमए भवन के सभागार में सातवां विश्व हरेला महोत्सव आयोजित किया गया। कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा देने और जनचेतना का विस्तार करना रहा। आयोजन की शुरुआत वृक्षाबंधन रैली और निःशुल्क कॉटन बैग वितरण से हुई। मुख्य अतिथि राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) समाज कल्याण विभाग असीम अरुण ने दीप प्रज्ज्वलित कर महोत्सव की शुरुआत की। असीम अरुण ने कहा कि पर्यावरण संरक्षण के उत्सव के रूप में हरेला महोत्सव के जरिये प्रकृति संरक्षण की अलख जाने के लिए उत्तराखंड समाज बधाई का पात्र है। कन्नौज और बरेली में वन्य क्षेत्र को चयनित कर उस निर्धारित क्षेत्र में बंदर समेत अन्य पशुओं को स्वच्छंद विचरण के लिए छोड़ देना चाहिए। ऐसा करने मात्र से ही प्रकृति के प्रति जाने-अन्जाने में किए गए पापों का प्रायश्चित किया जा सकता है। अखिल भारतीय पर्यावरण संरक्षण गतिविधि के संयोजक गोपाल आर्य ने कहा कि भारत माता की जय बोलने से पहले हमें यह सोचना होगा कि जिस भारत को ‘सोने की चिड़िया’ कहा गया, आज वहां पेड़ों की संख्या कितनी रह गई है। विशेषज्ञों के अनुसार प्रति व्यक्ति 420 पेड़ होने चाहिए, जबकि वर्तमान में देश में औसतन 28 पेड़ ही हैं। दिल्ली जैसे महानगरों में स्थिति और भी गंभीर है, जहां तीन व्यक्तियों पर एक पेड़ है। बरेली में भी प्रति व्यक्ति पेड़ों की संख्या अपेक्षा से बहुत कम है। भगवान कृष्ण के जीवन से हमें पर्यावरण संरक्षण का विशेष संदेश मिलता है। कथा के अनुसार कृष्ण ने यमुना को प्रदूषित करने वाले कालिया नाग का दमन किया था। यह केवल धार्मिक प्रसंग नहीं, बल्कि जल प्रदूषण और जल संरक्षण के महत्व का प्रतीक है। कार्यक्रम अध्यक्ष कुलपति प्रो. केपी सिंह ने कहा कि इस पर्व का वैज्ञानिक दृष्टिकोण भी है, क्योंकि इस समय लगाए गए पेड़ आसानी से जीवित रहते है। कार्यक्रम में वन व पर्यावरण मंत्री डॉ. अरुण कुमार, महापौर डॉ. उमेश गौतम, कैट विधायक संजीव अग्रवाल, बिथरी चैनपुर विधायक डॉ. राघवेंद्र शमां, डॉ. विनोद पागरानी, सतीश जोशी अति विशिष्ट अतिथि के रूप में रहे। आयोजन को सफल बनाने में डॉ. हरीश भट्ट, प्रो. त्रिलोचन शर्मा समेत आयोजन समिति के सदस्य और महिलाओं की सक्रिय भागीदारी रही। संचालन आशा कांडपाल और मनसा मिश्रा ने किया। महोत्सव के दौरान समाज के विभिन्न क्षेत्रों में योगदान देने वाले व्यक्तियों को बरेली गौरव सम्मान से नवाजा गया। इसमें महापौर डॉ. उमेश गौतम को उदीयमान नेतृत्व सम्मान, सत्येंद्र त्रिपाठी को लोक नीति भारत महिला सशक्तिकरण सम्मान, प्रो. सुमित्रा कुकरेती को महिला शिक्षा व सशक्तिकरण के लिए, घनश्याम खंडेलवाल (चेयरमैन बीएल एग्रों) को उद्यमिता और रोजगार सृजन हेतु सम्मानित किया गया। शिक्षा और चिकित्सा में योगदान के लिए आदित्य मूर्ति व राजेंद्र अग्रवाल, समाजसेवा के लिए योगेश पटेल ब्लॉक प्रमुख भोजीपुरा और नीता कुदेशिया, कृषि क्षेत्र में डॉ. विकास वर्मा, जबकि युवा प्रेरणा के लिए शगुन पाठक को यूथ आइकन अवार्ड प्रदान किया गया।।
बरेली से कपिल यादव