दर्द और पीड़ा से भरी कविताओं के संग्रह आस का हुआ विमोचन

बरेली। आध्यात्मिक साहित्यिक संस्था काव्यधारा रामपुर की बरेली शाखा के सौजन्य से बरेली के खुशलोक अस्पताल के सभागार में सुश्री डाॅ ॠतु गोड़ियाल ‘रीत’ जी की कृति ‘आस’ का विमोचन किया गया।

मंच पर उपस्थित संस्था के अध्यक्ष जितेंद्र कमल आनंद, लखनऊ से पधारे अमरनाथ अग्रवाल, बरेली शाखा के अध्यक्ष महेश मधुकर, हल्द्वानी से पधारी श्रीमती गीता मिश्रा गीत, डॉ के पी सिंह ‘विकल’ बहराइची, डॉ ओम शंकर मिश्रा, रोहित राकेश जी तथा ‘आस’ की लेखिका सुश्री डाॅ ॠतु गोड़ियाल ‘रीत’ जी के कर कमलों से इस पुस्तक का अनावरण किया गया तो पूरा सभागार तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठा।

सभागार में उपस्थित अन्य साहित्यकारों में से श्रीमती रागिनी गर्ग, राजवीर राज जी, रितेश कुमार साहनी, राम कुमार भारद्वाज, रामधनी सिंह निर्मल, उमेश त्रिगुणायत, ओम प्रकाश अकेला, शिव शंकर मिश्र, ठाकुर राम प्रकाश ‘ओज’ आदि ने इस कृति की भूरि भूरि प्रशंसा की। जितेंद्र कमल आनंद जी ने कृति पर प्रकाश डालते हुए कहा यद्यपि इसकी रचनाएं छंद मुक्त हैं तथापि जीवन के हर पहलू को छू रही। अमिधा और व्यंजना दोनों शैली में प्रणीत यह कृति पाठकों को पसंद आएगी। अमरनाथ अग्रवाल ने इसकी समीक्षा करते हुए कहा कि दुख, विछोह, ठुकराए जाने तथा प्रताड़ना के मटमैले तथा स्याह रंगों से सराबोर होते हुए भी अंतिम वेदना की स्पष्ट झलक, खुशी, आंसू, दर्द और कराह को अपने अंदर समेटे हुए है। महेश मधुकर जी एवं राम किशोर वर्मा जी ने इस कृति की समीक्षा करते हुए इसे दर्द और पीड़ा की जीवंत दास्तान बताया। कार्यक्रम के अंत में खुशलोक अस्पताल के निदेशक डॉ विनोद पागरानी ने भी नवोदित लेखिका सुश्री डाॅ ॠतु गोड़ियाल जी को शुभकामनाएं दी।

कार्यक्रम का संचालन वरिष्ठ कवि रोहित राकेश ने किया। कार्यक्रम में अनमोल रागिनी चुनमुन, राजवीर सिंह राज,रामधनी सिंह निर्मल, उमेश अद्भुत, रामकुमार भारद्वाज अफरोज, राम प्रकाश सिंह ओज, भारतेंद्र सिंह एवं रमेश रंजन, मनोज कुमार आदि कवियों ने काव्य पाठ किया। ऋतु गोड़ियाल के ताऊ जी श्री ओम प्रकाश अकेला ने भी काव्य पाठ किया।

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