बरेली। सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट बंद होने से शहर की बाहरी सड़कों पर दबाव बढ़ गया है। नगर क्षेत्र से निकलने वाला कूड़ा वहां धड़ल्ले से फेंका जा रहा है। पीलीभीत बाईपास तो नया डलावघर बन गया है। यहां कूड़े के ढेर लग गए हैं। कूड़े के अलावा वहां मरे हुए जानवर भी फेंके जा रहे हैं। गंदगी के कारण उठने वाली दुर्गध से आसपास रहने वालों का बुरा हाल है। पीलीभीत बाईपास से चंद कदम की दूरी पर डोर टू डोर वालों ने अस्थाई तौर पर डलावघर बना लिया है। हर दिन कई टन कूड़ा सड़क किनारे पड़ी खाली जमीन पर उड़ेला जा रहा है। इलाके के कई कारोबारियों ने कूड़ा डाले जाने का कई बार विरोध भी किया था। इसके बाद भी डोर टू डोर वाले कूड़ा डालने से बाज नहीं आ रहे हैं। निगम अफसरों से शिकायत करने के बाद भी डोर टू डोर कूड़ा कलेक्शन वालों पर कोई एक्शन नहीं लिया जा रहा है। शहर को साफ सुधरा बनाए रखने के लिए हर साल नगर निगम करोड़ों की रकम खर्च करता है। सड़कों पर कचरा न फेंका जाए, इसके लिए नगर निगम ने डोर टू डोर कूड़ा कलेक्शन व्यवस्था की शुरूआत की थी। हर घर से कूड़ा उठाने केनिर्देश दिए जा चुके हैं। निजी कंपनी द्वारा डोर टू डोर कूड़ा कलेक्शन केलिए लगाए गए रिक्शे और चार पहिया वाहन छोटा हाथी से कूड़ा लाकर पीलीभीत बाईपास से कुछ ही दूरी पर खाली पड़ी जगह पर डाला जा रहा है। हर दिन बड़ी मात्रा में डाले जा रहे कूड़ा से लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। आसपास दुकानदारों ने पिछले सप्ताह मेयर से मिलकर भी कूड़ा डाले जाने पर रोक लगाने की मांग की थी। इसके बाद भी अभी तक डोर टू डोर वालों पर कोई कार्रवाई नहीं की जा सकी है। जिस कारण निजी कंपनी वालों की मनमानी केचलते शहर को गंदा किया जा रहा है।।
बरेली से कपिल यादव