बरसेर, बरेली। ऐतिहासिक लीलौर झील को पानी से भरने के लिए किए जा रहे बोरिंग को देखकर डीएम ने नाराजगी जताते हुए कहा कि इस छोटे बोरिंग से इतनी बड़ी झील कैसे भरोगे। उन्होंने जल निगम के अफसरों की कड़ी फटकार लगाई। अन्य विभागों को काम मे तेजी लाने को कहा है। लीलौर झील को डीएम अविनाश सिंह एक ड्रीम प्रोजेक्ट के रूप मे ले रहे हैं और इसे जल्द पूरा करने के सख्त निर्देश दिए हैं। इसको लेकर रविवार शाम डीएम अविनाश सिंह अपने अधीनस्थों के साथ लीलौर पहुंचे। उन्होंने झील मे पानी भरने को किए जा रहे बोरिंग को देखकर नाराजगी जताई और बोले यह बोरिंग छोटा क्यों किया जा रहा है जबकि यहां बड़े से बड़े बोरिंग की जरूरत है। झील को हर समय पानी से भरा रखने के लिए बड़ी क्षमता का टयूववेल चाहिए। उन्होंने जल निगम के काम की धीमी गति देखकर कड़ी फटकार लगाते हुए जल्द कार्य पूरा न करने पर कार्रवाई की हिदायत दी है। सिंचाई विभाग और डीसी मनरेगा को चार दिन मे झील की गहराई बढ़ाने के आदेश दिए। इसमें किनारे तक तीन से चार मीटर तक पानी भरकर स्टीमर चलाए जा सकेंगे। एक बोरिंग पूरा होने पर बिजली विभाग को कनेक्शन देकर एक दिन मे चालू करने के आदेश दिए। डीएम अविनाश सिंह ने लीलौर झील को टूरिस्ट स्पॉट के रूप बनाने को एक ड्रीम प्रोजेक्ट की तरह लिया है उन्होंने सभी अधीनस्थों से दो टूक कहा कि इसे ऐसे विकसित करना है कि पर्यटक यहां खिंचे चले आएं। इसके लिए हर रोज किए गए कार्य की मानीटरिंग होगी। डीएम अविनाश ने रविवार को झील पर सभी विभागों को सख्त लहजे में कहा है कि यहां 15 अगस्त को स्टीमर चलेगा। इसके लिए सभी अपने – अपने कार्य को समय से पूरा करें। इस दौरान डीसी मनरेगा, एडीएम ई पूर्णिमा सिंह, एसडीएम विदुषी सिंह, वन विभाग के रेंजन शीश पाल विष्ट, अमित राना, सिंचाई व बिजली विभाग के एसडीओ व जेई आदि मौजूद रहे।।
बरेली से कपिल यादव