बरेली। जोगी नवादा मे अंतिम सोमवार को भी कांवड़ यात्रा नही निकल पाएगी। प्रशासन ने शाह नूरी मस्जिद के सामने से कांवड़ यात्रा निकालने के आवेदन को तीसरी बार भी निरस्त कर दिया है। इस कांवड़ यात्रा के परंपरागत न होने और इसके निकलने से शांति व्यवस्था बिगड़ने की आशंका को अनुमति न देने का कारण बताया गया है। जोगीनवादा मे शाह नूरी मस्जिद के सामने से कांवड़ यात्रा निकालने के दौरान 23 जुलाई को विवाद हुआ था। दूसरे समुदाय के विरोध के बाद पथराव हुआ तो पुलिस को स्थिति पर काबू पाने में पसीने छूट गए थे। इसके बाद 30 जुलाई को फिर कांवड़ यात्रा निकली तो दोबारा विवाद हुआ। दोनों समुदायों के बीच भारी तनातनी के दौरान हालात काबू से बाहर होने लगे तो पुलिस को आंसू गैस के गोले छोड़ने के साथ लाठीचार्ज करके भीड़ को खदेड़ना पड़ा था। मामला शासन तक पहुंचा तो मुख्यमंत्री ने निर्देश जारी कर दिए कि किसी विवादित स्थल से नई कांवड़ यात्रा निकालने की अनुमति न दी जाए। इधर, जोगी नवादा में कांवड़ यात्रा निकालने की कोशिश लगातार की जाती रही। भाजपा के राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष राजेश अग्रवाल समेत कई पदाधिकारियों ने भी इसके लिए जमकर पैरवी की लेकिन प्रशासन अनुमति देने के लिए तैयार नही हुआ। जोगी नवादा कांवड़ समिति के महंत राकेश कश्यप ने अनुमति के लिए पहले दो बार आवेदन किया था लेकिन प्रशासन ने अनुमति नही दी। इसके बाद 27 अगस्त को कांवड़ यात्रा की अनुमति के लिए तीसरी बार आवेदन किया गया। प्रशासन ने अब उसे भी खारिज कर दिया है। अपर नगर मजिस्ट्रेट नहने राम ने बताया कि नूरी मस्जिद के सामने से कांवड़ यात्रा कभी नहीं निकली है। इसीलिए अनुमति के आवेदनों को निरस्त किया गया है। महंत के तीसरे आवेदन पर भी पुलिस से जांच कराई गई थी। रिपोर्ट पक्ष मे न हाेने की वजह से आवेदन निरस्त कर दिया गया है।।
बरेली से कपिल यादव