बरेली। एनएचएआई के मेंबर एडमिन विशाल चौहान के 20 मार्च को फिर आने की सुगबुगाहट है। इससे सितारगंज फोरलेन प्रोजेक्ट मे लगे अफसरों का टेंशन बढ़ गया है। बताया जा रहा है कि चौहान इस बार पैकेज वन के कार्यों की प्रगति देखने के साथ जनपद पीलीभीत में चल रहे पैकेज टू के कार्यों का भी निरीक्षण करेंगे। मेंबर एडमिन के आने की खबर के बाद कार्यदायी संस्था ने काम का रफ्तार बढ़ा दी है। एनएनएचआई अफसर भी अलर्ट मोड में आ गए है। साइट पर उनके दौरे बढ़ गए हैं। बरेली से सितारगंज तक 71 किमी लंबा हाईवे टू से फोरलेन किया जाना है। करीब 1381 करोड़ रुपये के इस प्रोजेक्ट के लिए एनएचएआई ने 14 मार्च 2024 को अनुबंध किया था लेकिन अब तक सिर्फ 15 फीसदी काम हुआ है जबकि 13 मार्च 2026 को उसे पूरा करने की समयसीमा तय की गई है। पिछले दिनों मेंबर एडमिन ने प्रोजेक्ट की समीक्षा के दौरान निर्माण कार्य धीमी रफ्तार पर नाराजगी जताई थी। कार्यदायी संस्था की ओर से मिट्टी की कमी की वजह से काम के गति न पकड़ पाने का तर्क दिया था लेकिन मेंबर एडमिन ने उसे खारिज कर दिया था। इसके बाद जैसे-तैसे मिट्टी का इंतजाम कर कार्यदायी संस्था ने काम तो शुरू कर दिया लेकिन अब तक उसकी रफ्तार पर कोई खास फर्क नही पड़ा है। वही प्रोजेक्ट के लिए बरेली के साथ पीलीभीत और सितारगंज (उत्तराखंड) में जमीन का अधिग्रहण किया गया है। कुल 71 किमी हाईवे का करीब 38 किमी हिस्सा पीलीभीत जिले मे है। एनएचएआई के अधिकारी के अनुसार करीब ढाई साल पहले पहले पीलीभीत वन विभाग ने फोरलेन के एलाइनमेंट वाली जमीन पर करीब 10 किमी क्षेत्रफल में 10 हजार पौधे लगाए थे। अब इन्हें हटाने के लिए एनएचएआई ने उसे सात करोड़ की धनराशि दी है लेकिन इसके बाद भी पौधे नही हटाए गए है। पिछले दिनों आए विशाल चौहान के सामने भी यह मुद्दा उठा था। पीडी प्रशांत दुबे का कहना है कि पौधों की वजह से पैकेज टू के काम में कुछ दिक्कतें आ रही हैं। हालांकि जल्द समाधान होने की उम्मीद है।।
बरेली से कपिल यादव