बरेली। भारतीय राष्ट्रीय छात्र संगठन के जिलाध्यक्ष मोहम्मद नदीम सिद्दीकी ने कार्यकर्ताओं के साथ डीएम कार्यालय पहुंचकर आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के दिए बयान के विरोध में महामहिम राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन प्रशासनिक अधिकारी मुन्नालाल को दिया। मोहम्मद नदीम सिद्दीकी ने कहा कि 15 जनवरी को आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने कहा कि भारत देश की आजादी हमें सन् 1947 में नहीं बल्कि राम मन्दिर निर्माण के बाद मिली है जो कि एक गैर संविधानिक ब्यान है तथा इस बयान से स्वतन्त्र सेनानी व शहीदों का घोर अपमान किया गया है। जिससे समस्त देशवासियों में रोष व्याप्त है। आरएसएस हमेशा देश व स्वतन्त्र सेनानियों व शहीदों का अपमान करती चली आ रही है। हम कांग्रेसी मोहन भागवत के विरूद्ध सख्त कानूनी कार्यवाही व आरएसएस को हमेशा के लिये बैन करने की मांग करते है। ज्ञापन देने बालों में मोहम्मद नदीम सिददीकी, मुशाहिद रजा, रोहित राणा, विशाल चौधरी, आसिफ, शाह जी, मोहम्मद हसनैन अंसारी आदि मौजूद रहे।।
बरेली से कपिल यादव