बरेली। सावन माह से चार दिन पहले शाही के गौसगंज में समुदाय विशेष ने हिंदुओं के घर पर हमला कर दिया था। लाठी-डंडों से पीटने के बाद वहां जमकर पथराव किया। इसके बाद सावन से एक दिन पहले डेलापीर स्थित मंदिर में उत्तराखंड के युवक ने मंदिर की मूर्तियों को तोड़ दिया। इन सभी घटनाओं से शहर मे पुलिस बल मुस्तैद कर दिया गया है। मंदिरों में कड़ी सुरक्षा के साथ ही विवादित स्थानों पर सावन माह के पहले दिन व पहले सोमवार को लेकर पुलिस बल तैनात कर दिया गया है। साथ ही अधिकारी भी शहर की टोह ले रहे हैं। उन्होंने साफ निर्देश दे दिया है कि अगर शहर का जरा भी माहौल खराब होता है तो खुराफातियों की खैर नही। एसपी सिटी राहुल भाटी ने बताया शहर का माहौल शांत है। रूट डायवर्जन चल रहा है। कावडियों की सुविधा के लिए शहर मे भारी वाहनो पर रोक लगी हुई है। बतातें चलें जिले के गौसगंज मे मुर्हरम के ताजिये निकालने के दौरान बीते मंगलवार को शाही के गौसगंज में ववाल होते-होते बचा। इस दौरान पुलिस की सुझबूझ के बवाल टल गया था। उसके बाद शुक्रवार को समुदाय विशेष ने हिंदू परिवारों के घर हाथों में लाठी-डंडे लेकर धावा बोल दिया। जिसमें करीब आधा दर्जन लोग घायल हो गए थे। मौके पर पहुंची पुलिस ने मामला शांत कराया। गांव मे सावन के पहले सोमवार को संज्ञान मे लेते हुए भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। सावन से एक दिन पहले डेलापीर स्थित मंडी समिति के गोपेश्वनाथ मंदिर में उत्तराखंड के खटीमा के मोहला इस्लामनगर निवासी अकरम नाम के युवक ने मंदिर की मूर्तियों को तोडकर खंडित कर दिया था। मंदिर के पुजारी पर चाकू से जानलेवा हमला किया था। वहां मौजूद लोगों ने उसकी पिटाई लगाने के बाद पुलिस के हवाले कर दिया। शहर का माहौल खराब करने के पीछे इसके साथ कौन-कौन था पुलिस इसकी जांच कर रही है। वही सोमवार को अकरम का मेडिकल कराने के बाद जेल भेज दिया।।
बरेली से कपिल यादव