सरहदी इलाकों में हमेशा पकड़ी जाती है हेरोइन लेकिन असली आकाओं को पकड़ने में छूट रहा है भारी पसीना

बाड़मेर/ राजस्थान -भारत पाकिस्तानी सरहदी इलाकों से पिछले छः महीने में सीमा पार करके भारत भेजी जाने वाली लगभग एक क्विंटल हेरोइन जब्त की जा चुकी है। तीनों बार में जब्त हेरोइन राजस्थान से होकर पंजाब के तस्करों तक पहुंचाई जानी थी।एसओजी, ऐं टी एस, स्थानीय पुलिस तंत्र व नारकोटिक्स कन्ट्रोल ब्यूरो भारतीय तस्करी में लिप्त स्थानीय पुराने ओर नये तस्करों को गिरफ्तार कर चुकी है। सीमा पार बैठे तस्करी के पारंगत आकाओं की पहचान भी जांच-पड़ताल करने वाले अधिकारियों द्वारा कर ली गई है, लेकिन इनके पकड़ में आने की संभावनाएं बहुत कम दिखाई देती है उन्हें गिरफ्तार करना काफी मुश्किल भरा काम है।

एनसीबी के अनुसार गत माह खाजूवाला में सीसुब की कार्रवाई में 56.501 किलो हेरोइन जब्त की गई थी। एनसीबी जांच-पड़ताल कर रही है। इस मामले में स्थानीय तस्करों की पहचान की जा चुकी है। वहीं, सीमा पार लाहोर पाकिस्तान से हेरोइन भेजने वाले मलिक चौधरी को नामजद किया गया है। एनसीबी का कहना है कि सीमा पार से हेरोइन या अन्य मादक पदार्थ भेजने वालों को पकडऩा लगभग नामुमकिन है। यदि ऐसे वांछित तस्कर किसी और देश में जाते हैं तो वहां से प्रत्यर्पण संधि के तहत गिरफ्तार करके लाया जा सकता है, लेकिन पाकिस्तान से इन्हें लाना काफी मुश्किल भरा काम है।

पिछले एक दशक से भारत सरकार ने पाकिस्तान पर प्रत्यर्पण संधि के लिए दबाव बनाना शुरू किया था। समय-समय पर गृह सचिव स्तरीय की बातचीत के दौरान भारत सरकार ने दोनों देशों के बीच प्रत्यर्पण संधि की जरूरत पर बल दिया था। प्रत्यर्पण संधि होने के बाद पाकिस्तान में रह रहे मोस्ट वांटेड अपराधियों को भारत लाने में आसानी होगी। इसके अलावा भारत ने आपराधिक मामलों की जांच में दोनों देशों के बीच कानूनी सहयोग संधि का प्रारूप भी पाकिस्तान को सौंपा था लेकिन मौजूदा हालात में यह रद्दी की टोकरी में चला गया होगा।

पिछले एक दशक से ओर कोराना भड़भड़ी से पहले समय समय पर गृह सचिव भारत सरकार की ओर से प्रत्यर्पण संधि करने का प्रस्ताव रखा गया और पाकिस्तान ने इसे स्वीकार कर लिया था। और अब तक उसकी प्रतिक्रिया का हमारी सरकार को इंतजार है। इसके साथ ही भारत ने प्रत्यर्पण संधि को कार्यरूप में लाने के लिए आपराधिक मामलों में कानूनी सहयोग की संधि का प्रारूप भी पाकिस्तान को सौंपा था। प्रारूप पर विचार करने के लिए पाकिस्तान ने दो माह का समय मांगा था। इस संधि पर हस्ताक्षर होने के बाद दोनों देशों की एजेंसियां आपराधिक मामले की जांच में एक-दूसरे का सहयोग कर सकेंगी।

सरहदी इलाकों में पिछले छः महीनों से तीन बड़ी कार्यवाहियों में जब्त की गई हेरोइन…

पन्द्रह फरवरी : एटीएस – एसओजी ने बाड़मेर जिले में बींजराड़ थानान्तर्गत आरबी की गफन में सात किलो हेरोइन जब्त की थी।

तीन जून : सीमा सुरक्षा बल ने खाजूवाला में सीमा पार से आई 56.501 किलो हेरोइन जब्त की थी। एनसीबी जांच कर रही है।

सात जुलाई : एटीएस-एसओजी ने बाड़मेर के सीमावर्ती क्षेत्र में बाइस किलो हेरोइन जब्त कर दो व्यक्तियों को गिरफ्तार किया। उसके बाद दो ओर व्यक्तियों को गिरफ्तार करने के बाद चारों तस्करों को पुलिस द्वारा न्यायालय से रिमांड पर लेकर पुलिस थाने गिराब में जांच-पड़ताल जारी है।

– राजस्थान से राजू चारण

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *