बरेली/फतेहगंज पश्चिमी-क्षेत्र के गांव ख़िरका में सरकारी अस्पताल के पास श्मसान भूमि है।उसी के पास कूड़े में पड़े मिले आयुष्मान भारत योजना के कार्ड।जानकारी के अनुसार शुक्रवार को ख़िरका गांव के वीडीसी मेम्बर कंहीलाल गांव में कोई खत्म हो गया था।उसी की अंत्येष्टि में गये थे। अचानक उनकी नजर आयुष्मान कार्ड पर पड़ी तो वह उनके पास पहुँचे तो देखा कि 62 आयुष्मान कार्ड थे।उन्होंने उठाकर देखा तो गांव पन्थरा,होंशपुर, मुबारकपुर जगतपुर काशीराम गांव के लोगो के 62 कार्ड थे।स्वास्थ्य विभाग से संबंधित लोगों को कार्ड वितरण की जिम्मेदारी दी गई थी लेकिन लापरवाही के कारण कार्ड का वितरण नहीं किया गया। जबकि लाभ पाने के लिए पात्र गरीब लोग अस्पताल के चक्कर काटने को मजबूर हैं। वहीं सरकार कितनी भी योजनाएं लाए, लाख दावे करे, लेकिन यह सारी योजनाएं केवल कागजों में सिमट कर रह जाती है।बता दें यह प्रधानमंत्री द्वारा गरीब परिवारों के लिए चलाई जा रही आयुष्मान भारत योजना है। जिसे स्वास्थ्य विभाग के लोग इस योजना को पलीता लगाने में कोई कसर नहीं छोड़ रहे हैं। सरकार के आदेश के बाद गरीबों को आयुष्मान योजना के कुछ कार्ड तो बन गए लेकिन अभी तक लाभार्थी को उसका लाभ न मिलने से सरकार पर सवालियां निशान उठना लाजिमी है। क्या यह योजना केवल सरकारी कागजों तक ही सीमित है या अधिकारियों की घोर लापरवाही है।अब देखना यह है कि क्या कार्ड फेंकने बालों के खिलाफ कोई कार्यवाही होगी।
– बरेली से सौरभ पाठक की रिपोर्ट