बाड़मेर/राजस्थान- सरहद की निगेहबान आँखों के घरों में अब प्रोजेक्ट सक्षम नई मुस्कान भर रहा है।भारतीय सेना के जाँबाजो और शूरवीरों के परिवारों को सक्षम बनाने के साथ उन्हें स्वावलंबी बनाने की दिशा में महवत्पूर्ण कदम बढ़ाए जा रहे है। भारत पाकिस्तान सीमा पर स्थित बाड़मेर के जालीपा मिलिट्री स्टेशन में ग्रामीण स्वरोजगार प्रशिक्षण व सेना के संयुक्त प्रयास द्वारा संचालित जालीपा सैन्य स्टेशन में तैनात सैनिकों की रीढ़ अर्थात उनकी पत्नियों को सशक्त एवं स्वावलंबी बनाने की दिशा में प्रोजेक्ट सक्षम को गठित किया गया है, उसके अंतर्गत प्रशिक्षित साठ महिलाओं के प्रथम बैच ने सिलाई और ब्यूटीशियन कौशल में एक माह के अथक परिश्रम के पश्चात पारंगत हो कर इस पाठ्यक्रम को सफलतापूर्वक उत्तीर्ण किया।इन पाठ्यक्रमों का उद्देश्य सेना के परिवारों को व्यापक व्यावसायिक प्रशिक्षण प्रदान करना व आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देना है जिसका प्रत्यक्ष उदाहरण आज सभी प्रशिक्षु महिलाओं ने इस पाठ्यक्रम की समयावधि में अर्जित अपने समस्त ज्ञान, कौशल व कला का संपूर्ण उपयोग करते हुए स्वरचित एक से बढ़ कर एक उत्पादों का प्रदर्शन कर के दिया।
कार्यक्रम के समापन समारोह में बतौर मुख्य अतिथि रैप्टर परिवार कल्याण की अध्यक्षा रहीं जिन्होंने सभी प्रतिभागियों से वार्तालाप किया, उनके द्वारा रचित उत्पादों को देखा व सराहना कर सभी का मनोबल बढ़ाया।साथ ही मुख्य अतिथि द्वारा सभी उत्तीर्ण प्रतिभागियों को इस पाठ्यक्रम में सहभागिता के प्रमाणपत्र भी प्रदान किए।
भविष्य में इसी प्रोजेक्ट के अंतर्गत कई अन्य प्रकार के पाठ्यक्रमों का आयोजन प्रस्तावित है जिससे सैन्य जवानों की पत्नियों के स्वरोजगार और उद्यमिता के लिए सशक्तिकरण का मार्ग और भी अधिक प्रशस्त होगा ।
– राजस्थान से राजूचारण